गुल होने वाली है भाजपा की बत्ती: अखिलेश

सपा प्रमुख बोले- लाल रंग हनुमानजी का है, भाजपा को लाल टोपी का डर सता रहा है

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
लखनऊ। सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा भाजपा नेताओं को लाल टोपी का डर सता रहा है। उन्हें अपना राजनीतिक अस्तित्व खतरे में लग रहा है। भाजपा की लाल बत्ती गुल होने वाली है। इस सच्चाई से भाजपा अच्छी तरह परिचित हो गई है। यही वजह है कि वह समाजवादी पार्टी पर अनर्गल आरोप लगाने लगी है।
सपा अध्यक्ष ने कहा कि भारतीय संस्कृति का राग अलापने वाले भाजपा नेताओं को यह नहीं पता है कि लाल रंग हनुमानजी का है। जीवन में लाल रंग बदलाव और खुशहाली का प्रतीक है। लेकिन भाजपा इस बात को समझने को तैयार नहीं है। उसकी नीतियां नफरत फैलाने वाली है। भाजपा नेताओं को देश की भावनाओं से कोई लेना देना नहीं। किसानों, नौजवानों की समस्याओं के प्रति उसका रुख उपेक्षापूर्ण है। किसानों से किए गए वादों को भाजपा भूल गई है। यही नहीं, उसने अपने चुनाव संकल्प पत्र में जो वादे किए थे उन्हें भी वह कूड़े में डाल चुकी है। नौजवानों को रोजगार के झूठे आंकड़ों से भ्रमित किया जाता है। उन्होंने कहा कि संसदीय जनतंत्र में भाषा और व्यवहार की मर्यादा से दल और व्यक्ति का परिचय होता है। भाजपा नेतृत्व में भाषा का संयम मिटता जा रहा है। उसका आचरण भी मर्यादा लांघता नजर आने लगा है। उन्होंने कहा कि भाजपा को वर्ष 2022 में सपा को मिलने वाले जनाधार का अंदाजा लग गया है। ऐसे में वह व्यक्तिगत आरोप लगाने में भी पीछे नहीं रह रही है।

किसानों का हक मारना चाहती है बीजेपी

चुनाव को लेकर तैयारियों में लगी पार्टियां एक-दूसरे पर कड़ा प्रहार करती नजर आ रही हैं। यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने दावा किया कि आगामी चुनाव में हमारी पार्टी 400 से अधिक सीटें ले आएगी। साथ ही उन्होंने बीजेपी पर कई आरोप लगाएं। अखिलेश ने कहा जिस कानून को बीजेपी ने वापस लिया है उसे पर पहले बताएं कि यह तीन कानून किस तरह से किसानों के हक में थे। अगर किसानों के हक में नहीं थे तो इस तरह के कानून को क्यों पारित किया गया था। अगर यह किसानों के हक में थे तो किस कारण से इसे वापस ले लिया गया।

कहीं ‘लाल टोपी वाला बयान धूल न चटा दे भाजपा को

पूर्व आईएएस सूर्य प्रताप सिंह ने लिखा दीदी ओ दीदी वाले बयान ने जमीन दिखाई थी। कहीं लाल टोपी वाला बयान उन्हें धूल न चटा दे। प्रधानमंत्री पद की गरिमा को तार-तार कर चुके मोदी जी क्या अब इतने बौखला गए हैं कि राजनीतिक शुचिता भी भूल जाएंगे? वो क्या बनाएंगे भारत को ‘विश्वगुरु जो खुद नफरत फैला कर अपना पोषण करते हैं? एक अन्य ट्वीट में उन्होंने लिखा टोपी (पगड़ी) की शान, आप क्या जानो, मोदी बाबू।

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