गरमाया मेडिकल उपकरण खरीद घोटाला

आप सांसद संजय सिंह ने चिकित्सा शिक्षा मंत्री समेत कई अफसरों के खिलाफ दी तहरीर

  • करोड़ों रुपये के बंदरबांट का लगाया आरोप, बिना टेंडर खरीदे गए उपकरण
  • हजरतगंज थाने में सांसद ने दी तहरीर, ब्लैक लिस्ट फर्म से भी खरीद का आरोप

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क

लखनऊ। आप सांसद संजय सिंह ने कोरोना काल में यूपी में मेडिकल उपकरण खरीद में घोटाले का आरोप लगाते हुए लखनऊ के हजरतगंज थाने में तहरीर देकर संबंधित मंत्री और अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग की है। तहरीर में आप सांसद संजय सिंह ने लिखा है कि कोरोना की संभावित तीसरी लहर के लिए मेडिकल उपकरणों की खरीद में बड़ा घोटाला किया गया है। इसके तहत राजकीय एवं स्वशासी मेडिकल कॉलेजों, चिकित्सा संस्थानों एवं विश्वविद्यालयों में पीडियाट्रिक कोविड हॉस्पिटल, पीआईसीयू की स्थापना के लिए चिकित्सा शिक्षा मंत्री सुरेश खन्ना एवं प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा आलोक कुमार द्वारा सुनियोजित तरीके से मानक के विपरीत मेडिकल उपकरणों को महंगे दामों पर क्रय कर आपराधिक षड्यंत्र रचा गया। जिसके तहत आलोक कुमार, प्रमुख सचिव के हस्ताक्षर से 16 जून को आदेश जारी किया गया। आदेश में आच्छादित फर्मों से ही उनके द्वारा इच्छित मूल्य पर अधीनस्थ चिकित्सा संस्थानों द्वारा बिना ई-निविदा, जेम पोर्टल पर टेंडर आमंत्रित किए तथा अन्य समस्त निर्माता-विक्रेता फर्मों को खरीद प्रक्रिया में प्रतिस्पद्र्धा के अधिकार से वंचित कर नामित फर्म से खरीद की गई।

 

आप सांसद संजय सिंह ने बताया कि षड्यंत्र के तहत एमएलएन मेडिकल कॉलेज प्रयागराज के प्रधानाचार्य द्वारा पूर्व में क्रय किए गए कुछ मेडिकल उपकरणों के क्रय मूल्य तथा सप्लाईकर्ता फर्म को उदाहरण स्वरूप लिखित रूप से मानक बनाया गया, जिसमें 22 लाख वेंटिलेटर 300 मॉडल क्रय करने की बिडिंग प्रक्रिया के माध्यम का उल्लेख था जबकि वही वेंटिलेटर केजीएमयू लखनऊ द्वारा 11 लाख 45 हजार 984 रुपये में क्रय किया गया था। इसके अलावा एमएलएन मेडिकल कॉलेज की बिडिंग प्रकिया में मेडिकल उपकरणों की खरीद की कोई व्यवस्था नहीं है। इस क्रय प्रक्रिया को तीस जून तक पूरा करने के निर्देश देते हुए 5879.452 लाख जारी किए गए। इसके अलावा अधीनस्थ क्रयकर्ताओं को असीमित खरीद की छूट भी दी गई। तहरीर में संजय सिंह ने कहा है कि अपने स्वार्थों की पूर्ति के लिए सुरेश खन्ना, आलोक कुमार द्वारा चिन्हित फर्मों से उच्च मूल्यों पर खरीद कराकर भारी धन उगाही की गई। यही नहीं कुछ ब्लैक लिस्ट फर्म से भी खरीददारी की गई। जिसमें सीधे तौर पर आलोक कुमार, सुरेश खन्ना, अन्य प्रधानाचार्य एवं एमएलएन मेडिकल कॉलेज प्रयागराज के प्रधानाचार्य तथा महानिदेशक चिकित्सा शिक्षा सौरभ बाबू, आईएएस ने सीधे तौर पर सरकार को गंभीर आर्थिक क्षति पहुंचाई है और रुपयों की बंदरबांट की गई। लिहाजा इनके खिलाफ एफआईआर दर्ज कर कार्रवाई की जाए।

यहां भी हुआ घोटाला

आप सांसद संजय सिंह ने कहा कि संजय गांधी स्नातकोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान व डॉ. राम मनोहर लोहिया संस्थान में भी मनमानी उच्च दरों पर आर.टी.पी.सी.आर. की खरीद प्रारम्भा हो गई। डा. आरके धीमान निदेशक एसजीपीजीआई एवं डा. राम मनोहर लोहिया संस्थान की निदेशक डा. सोनिया नित्यानंद ने आलोक कुमार के इशारे पर जान-बूझकर 17 लाख 70 हजार की मशीन को 26 लाख 78 हजार 500 प्रति नग से खरीद कर भ्रष्टïाचार के समूचे रिकार्ड तोड़ दिये तथा शासकीय धन का गंभीर दुरुपयोग कर भारी क्षति पहुंचाई जबकि खरीद के पश्चात वही आर.टी.पी.सी.आर. मशीन झांसी एवं मेरठ मेडिकल कॉलेजों ने 17 लाख 70 हजार में खरीद की।

महंगाई के खिलाफ सडक़ पर उतरी कांग्रेस, चलाया हस्ताक्षर अभियान

पेट्रोल, डीजल और गैस की बढ़ती कीमतों पर सरकार को घेरा

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क

आगरा। खाद्य पदार्थों, पेट्रोल-डीजल और घरेलू गैस सिलेंडर के मूल्यों में वृद्धि को लेेकर केंद्र व प्रदेश सरकार के खिलाफ कांग्रेस का प्रदर्शन जारी है। आज आगरा शहर व जिला कांग्रेस कमेटी ने अलग-अलग स्थानों पर हस्ताक्षर अभियान चलाया। महंगाई को लेकर सरकार के खिलाफ जनता से समर्थन जुटाया गया।उप्र कांग्रेस कमेटी के आह्वान पर शहर कांग्रेस कमेटी ने अध्यक्ष देवेंद्र कुमार चिल्लू के नेतृत्व में हिंदुस्तान पेट्रोल पंप, सराय ख्वाजा में हस्ताक्षर अभियान चलाया। शहर अध्यक्ष देवेंद्र कुमार चिल्लू ने कहा कि केंद्र व प्रदेश सरकार को महंगाई में पिसती जनता की कोई परवाह नहीं है। कोरोना काल में लोगों के कारोबार चौपट हो गए, लोग बेरोजगार हो गए, लेकिन खाद्य पदार्थांे की कालाबाजारी से बढ़ती महंगाई को रोकने के लिए सरकार ने कोई कदम नहीं उठाया। अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चा तेल काफी सस्ता होने के बावजूद उसे महंगे दामों पर बेचकर सरकार अपनी जेब भरने में लगी है। हस्ताक्षर अभियान में डा. मधुरिमा शर्मा, नंदलाल भारती, अशोक शर्मा, अजहर वारसी, आईडी श्रीवास्तव समेत बड़ी संख्या में कांग्रेसी शामिल रहे।

अभ्यर्थियों को गाली और धमकी देने के मामले ने पकड़ा तूल

पूर्व आईपीएस अमिताभ और सोशल एक्टिविस्ट नूतन ठाकुर ने पुलिस कमिश्नर से की जांच की मांग

हजरतगंज इंस्पेक्टर पर गाली व धमकी देने का आरोप

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क

लखनऊ। पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर तथा सोशल एक्टिविस्ट नूतन ठाकुर ने इंस्पेक्टर हजरतगंज श्यामबाबू शुक्ला द्वारा शिक्षक भर्ती अभ्यर्थियों को धमकाने और अभद्र भाषा का प्रयोग करने के आरोपों की जांच की मांग की है। पुलिस कमिश्नर लखनऊ डीके ठाकुर को भेजी अपनी शिकायत में उन्होंने कहा कि उन्हें 0.25 मिनट का एक विडियो प्राप्त हुआ है, जो हजरतगंज इंस्पेक्टर श्यामबाबू शुक्ला का बताया गया है जो 13 जुलाई 2021 को उत्तर प्रदेश के बेसिक शिक्षा मंत्री के आवास के बाहर धरने पर बैठे शिक्षक भर्ती के अभ्यर्थियों के लिए एक अत्यंत ही अभद्र भाषा का प्रयोग करते हुए यह कहते सुने गए हैं कि इतने मुकदमे कर दूंगा कि दिमाग ठीक हो जायेगा। अमिताभ तथा नूतन ने कहा कि यदि यह विडियो सही है तो इंस्पेक्टर हजरतगंज द्वारा दी गयी गाली तथा उनके द्वारा दी गयी धमकी एक अत्यंत ही गंभीर प्रशासनिक दुष्कृत्य है, जिसमें एक इंस्पेक्टर रैंक के जिम्मेदार व्यक्ति द्वारा सार्वजनिक रूप से अभ्यर्थियों को इस प्रकार की भद्दी गाली तथा धमकी दी गयी है।

सीएम हस्ताक्षर मामले में खर्च कर दिए 29.93 लाख

लखनऊ। नूतन ठाकुर ने आरटीआई का हवाला देते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के विभिन्न अधिवक्ताओं पर मात्र यह निर्णय करवाने में 29.93 लाख रुपये खर्च कर दिए हैं कि किस-किस पत्रावली पर मुख्यमंत्री स्वयं हस्ताक्षर करेंगे। एक्टिविस्ट नूतन ठाकुर ने इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच में दायर जनहित याचिका में उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री कार्यालय के अफसरों द्वारा मुख्यमंत्री के नाम पर हस्ताक्षर करने को अवैध तथा व्यापक दुरुपयोग वाला बताते हुए इसे निषिद्ध करने की प्रार्थना की थी। हाई कोर्ट ने मामले को सुनवाई हेतु वृहत बेंच को संदर्भित किया था पर सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दायर कर दिया। नूतन ठाकुर ने बताया कि न्याय विभाग के जन सूचना अधिकारी राजेश सिंह द्वारा दी गयी सूचना के अनुसार प्रदेश सरकार ने इस मामले में वरिष्ठ अधिवक्ता राजीव धवन को 3.5 लाख रुपये प्रति सुनवाई पर नियुक्त किया जिन्हें अब तक 28 लाख दिया जा चुका है जबकि 08 अन्य अधिवक्ता को 1.93 लाख रुपये दिए गए हैं। यह सरकारी धन का खुला दुरुपयोग है जहां मात्र मुख्यमंत्री की व्यक्तिगत सहूलियत के लिए इतने पैसे खर्च किये गए हैं।

पाकिस्तान के लिए करता था जासूसी, गिरफ्तार

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क

नई दिल्ली। पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी इंटर-सर्विसेज इंटेलीजेंस (आईएसआई) के लिए जासूसी करने वाले एक संदिग्ध को दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने राजस्थान के पोकरण से हिरासत में लिया है। आरोपी मूलरूप से बीकानेर का रहने वाला है और वह भारतीय सेना को सब्जियों की आपूर्ति करता था। जानकारी के मुताबिक पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई से अप्रत्यक्ष रूप से जुड़े संदिग्ध का नाम हबीब खान है और यह भारतीय सेना में कॉन्ट्रेक्ट के तौर पर कई वर्षों से काम कर रहा था। हबीब खान सेना से जुड़ा अहम जानकारी जुटाकर पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई को देने की जुगत में था। 

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