जिन जिलों में संक्रमण ज्यादा है वहां रैपिड टेस्ट किट ज्यादा भेजी जाएं: सीएम योगी

कोरोना संक्रमण को रोकने और मरीजों की निगरानी के लिए बनाएं प्रभावी मॉडल
पीजीआई, केजीएमयू व लोहिया के डॉक्टरों की टीम गठित ह

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अफसरों को कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों पर सख्ती बरतने के निर्देश दिए है। सीएम योगी ने इसे लेकर देर रात एक विशेष बैठक बुलाई, जिसमें निर्देश दिए कि कोरोना संक्रमण का प्रसार रोकने और मरीजों की निगरानी के लिए एक प्रभावी मॉडल तैयार करें। सीएम योगी ने रणनीति तैयार करने के लिए उन्होंने प्रमुख चिकित्सा संस्थानों के निदेशक और वरिष्ठ चिकित्सकों की एक टीम बनाने को भी कहा है।
मुख्यमंत्री ने अपने आवास पर कोविड-19 मरीजों की निगरानी के संबंध में प्रस्तुतीकरण देखा और कहा कि संक्रमण के फैलाव की स्थिति से निपटने के लिए पीजीआई, केजीएमयू, डॉ. राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान के निदेशक व वरिष्ठ डॉक्टरों की एक टीम गठित करें, जो कि प्रभावी रणनीति बनाएगी। रैपिड एंटीजन टेस्ट किट ज्यादा संख्या में मंगाकर सभी जिलों में भेजें। अन्य तरीकों से भी टेस्टिंग की संख्या बढ़ाएं। साथ ही जिन जिलों में संक्रमण तेजी से फैल रहा है, वहां रैपिड एंटीजन टेस्ट किट ज्यादा भेजी जाएं। बड़े जिलों पर खास नजर रखने के लिए भी कहा। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना संक्रमण को रोकने में कांटैक्ट ट्रेसिंग अहम कदम है। सर्विलांस के लिए पूरे प्रदेश में एक लाख टीमें गठित करें। प्रत्येक जिले की टीम की निगरानी जिलाधिकारी के नेतृत्व में की जाए। इसके अलावा सभी जिलों में शनिवार और रविवार को स्वच्छता और सैनिटाइजेशन बेहतर ढंग से होना चाहिए। लखनऊ एसजीपीजीआई के निदेशक प्रो. आरके धीमान ने भी विचार व्यक्त किए।

पांच फीसदी मरीज ही गंभीर

कोविड-19 के 80 फीसदी मरीज एसिम्पटोमैटिक या माइल्ड हैं, जबकि 15 फीसदी मरीज मॉडरेट हैं, जबकि पांच फीसदी मरीज ही गंभीर हैं। इससे बचने के लिए एसिम्पटोमैटिक या माइल्ड मरीजों का होम आइसोलेशन किया जाना चाहिए। इस दौरान बुजुर्गों व बच्चों को आइसोलेट किए गए व्यक्ति से अलग रखना चाहिए। यदि ऐसे मरीज की अंतिम रिपोर्ट नेगेटिव आती है तो भी उसे 14 दिन के लिए आइसोलेशन में रखना चाहिए।

कड़ाई से कराएं दूरी और मास्क का पालन

सीएम योगी ने कहा कि संक्रमण की रोकथाम में मास्क का उपयोग और शारीरिक दूरी महत्वपूर्ण है। इसका कड़ाई से पालन किया जाए। अस्पतालों में सीनियर डॉक्टर, नर्स, पैरामेडिकल स्टाफ निरंतर राउंड लगाएं। मरीज का हौसला बढ़ाते हुए उसका समुचित इलाज करें। उसे समय से पौष्टिक भोजन उपलब्ध हो और अस्पताल व शौचालयों में साफ-सफाई रहे। सार्वजनिक स्थलों पर पर्याप्त वेंटिलेशन भी जरूरी है।

लोहिया में पॉजीटिव महिला को भर्ती करने की बजाय भेज दिया घर

कर्मचारियों ने अस्पताल के कार्यों का किया बहिष्कार, गेट पर किया प्रदर्शन
१११ 4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
लखनऊ। लोहिया अस्पताल में महिला कर्मचारी से अभद्रता का मामला सामने आया है। अस्पताल में महिला कर्मचारी कोरोना पॉजिटिव आने पर महिला को भर्ती करने के बजाय वापस उसे घर भेज दिया गया। इससे आक्रोशित चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारी और सफाईकर्मियों ने अस्पताल के कार्यों का बहिष्कार कर दिया है।
लोहिया संस्थान सूत्रों के अनुसार कर्मचारियों व सफाईकर्मियों के समर्थन में फार्मासिस्ट संघ भी आ गया है। इन सभी का आरोप है कि अस्पताल प्रशासन द्वारा पीपीई किट, एन 95 मास्क और सेनेटाइजर तक नहीं दिया जा रहा है। इस वजह से काम नहीं करने की चेतावनी देते हुए कहा जब तक मांगें नहीं सुनेंगे। तब तक काम नहीं करेंगे। इधर काम बंद होने से अस्पताल में मरीज विभागों के चक्कर काट रहे हैं, पर उनकी कोई सुनने वाला नहीं है।

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