गुरु पर्व: नानक नाम जहाज है जो जपे वो तर जाए

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
सिख धर्म के पहले गुरु श्री नानक देव जी की जयंती के रूप में मनाई जाती है। यह त्योहार हर साल कार्तिक मास की पूर्णिमा को मनाया जाता है। गुरु नानक जयंती का त्योहार सिख धर्म के लोग बेहद धूमधाम से मनाते हैं। इस दिन गुरुद्वारों को रोशनी से सजाया जाता है, प्रभात फेरी निकाली जाती है, इस दिन सिख लोग गुरुद्वारे जाते हैं और कीर्तन में शामिल होते हैं। गुरु नानक देव ने समाज की बुराइयों को दूर करने और लोगों के बीच भाईचारे को बढ़ाने का प्रयास किया। उन्होंने गुरु परंपरा की शुरूआत की और सिख धर्म की स्थापना की। कहते हैं इस दिन सच्चे मन से गुरु नानक जी का ध्यान कर उनका स्मरण करने से मन को शांति प्राप्त होती है। साथ ही मन्नतें अवश्य पूरी होती हैं। श्री गुरु नानक देव जी ने समाज से अज्ञानता को भगाने के लिए ज्ञान का प्रकाश किया, इसलिए गुरु नानक देव जी की जयंती को प्रकाश पर्व भी कहा जाता है। नानक देव जी की जयंती को गुरु पर्व भी कहा जाता है।
इस दिन क्या करते हैं लोग
गुरु नानक जयंती के अवसर पर, लोग अपने घरों में गुरु नानक देव जी की तस्वीर के सामने दीये जलाते हैं और उनकी शिक्षाओं को याद करते हैं। वे अपने परिवार और दोस्तों के साथ मिलकर गुरुद्वारे में जाते हैं और गुरु नानक देव जी की शिक्षाओं पर आधारित कार्यक्रमों में भाग लेते हैं। इसके साथ ही इस दिन जगह-जगह पर लंगर को आयोजन भी किया जाता है। तो वहीं कई लोग गुरु नानक जयंती पर अखंड पाठ भी कराते हैं।
कब है जयंती
इस साल गुरु नानक जयंती 5 नवंबर दिन बुधवार को मनाई जाएगी। पंचांग के आधार पर देखें तो इस वर्ष कार्तिक पूर्णिमा तिथि 4 नवम्बर मंगलवार को 10:36 पीएम पर शुरू होगी और इस तिथि की समाप्ति 5नवम्बर को 06:48 पीएम होगी। इस वर्ष गुरु नानक देव जी की 556वीं जयंती है। नानक देव जी के पिता मेहता कालूचंद और माता तृप्ता देवी थीं। उनकी पत्नी का नाम सुलक्षिनी, पुत्र श्रीचंद और लक्ष्मीदास थे। नानक देव की बहन का नाम नानकी था। नानक देव का निधन सन 1539 में पाकिस्तान के करतारपुर में हुआ था। गुरु नानक देव जी ने एक ओंकार का संदेश दिया, जिसका अर्थ है कि ईश्वर एक है।
कब हुआ था जन्म
गुरु नानक देव का जन्म 15 अप्रैल 1469 में पाकिस्तान के पंजाब प्रांत के तलवंडी नामक गांव में हुआ था, आज उस स्थान को श्री ननकाना साहिब के नाम से जाना जाता है। यह सिखों के लिए सबसे महत्वपूर्ण और आस्था का स्थान है। सिख धर्म के संस्थापक और पहले गुरु नानक देव जी का जन्म कार्तिक पूर्णिमा के दिन हुआ था। हर साल कार्तिक पूर्णिमा तिथि को गुरु नानक जयंती मनाई जाती है। गुरु नानक जयंती को गुरु पर्व या नानक देव का प्रकाश पर्व भी कहते हैं। गुरु नानक जयंती दिवाली के 15 दिनों के बाद मनाई जाती है। गुरु नानक जयंती सिखों के लिए सबसे बड़ा पर्व है।
नानक जी की महत्वपूर्ण बातें
गुरु नानक देव जी ने महत्वपूर्ण बातें बताईं हैं जिसका प्रत्येक सिख परिवार को अनुसरण करना जरूरी है। हर सिख को नाम जप करना, कीरत करना और वंड चखना आवश्यक है। हर दिन आप अपने वाहेगुरु के नाम का स्मरण करें। ईश्वर का नाम लें। ईमानदारी और मेहनत से अपना काम करें और सत्य के पथ पर चलें। आप ने जो कुछ भी हासिल किया है, उसका मिल बांटकर आनंद लें। अपनी कमाई का एक हिस्सा गरीबों को दान या सामाजिक उत्थान में लगाएं। उन्होंने मानवता के लिए समानता, प्रेम और सेवा का संदेश दिया।


