सात सीटों पर उपचुनाव के लिए वोटिंग जारी, कहीं एनडीएम बनाम इंडिया तो कहीं आपस में ही लड़ रहा गठबंधन
नई दिल्ली। लोकसभा चुनाव में अभी भले ही छह महीने का वक्त बाकी हो, लेकिन सियासी बिसात बिछाई जाने लगी है। बीजेपी के नेतृत्व वाले एनडीए को मात देने के लिए विपक्षी दलों ने इंडिया गठबंधन का गठन किया। 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले ही एनडीए और इंडिया का लिटमस टेस्ट देश के 6 राज्यों के सात विधानसभा चुनाव हो रहे उपचुनाव में हो जाएगा। उत्तर प्रदेश की घोसी सीट से लेकर उत्तराखंड की बागेश्वर, झारखंड की डुमरी, केरल की कुथुपल्ली, पश्चिमी बंगाल की धुपगुड़ी और त्रिपुरा की धानपुर और बाक्सनगर विधानसभा सीटों पर उपचुनाव के लिए वोटिंग हो रही है, जिसके नतीजों का असर 2024 के चुनाव में पड़ेगा।
घोसी सीट पर सपा बनाम बीजेपी
उत्तर प्रदेश की घोसी विधानसभा सीट पर हो रहे उपचुनाव में बीजेपी से दारा सिंह चौहान मैदान में हैं तो उनके सामने सपा से सुधाकर सिंह ने ताल ठोक रखी है। बीजेपी प्रत्याशी दारा सिंह को एनडीए के सहयोगी अपना दल (एस), निषाद पार्टी और ओम प्रकाश राजभर की सुभासपा का समर्थन हासिल है। वहीं, सपा प्रत्याशी सुधाकर सिंह को कांग्रेस, आरएलडी सहित अपना दल (कमेरावादी) का समर्थन हासिल है। इस तरह से घोसी में एनडीए बनाम ढ्ढहृष्ठढ्ढ्र के बीच फाइट है। दारा सिंह चौहान सपा छोडक़र बीजेपी में आए हैं, जिसके चलते उपचुनाव हो रहे हैं।
बागेश्वर सीट पर त्रिकोणीय मुकाबला
उत्तराखंड की बागेश्वर विधानसभा सीट पर बीजेपी से पार्वती देवी उतरी हैं तो कांग्रेस से बसंत कुमार मैदान में हैं। सपा से भागवती प्रसाद किस्मत आजमा रहे हैं। सपा के चुनावी मैदान में उतरने से बागेश्वर सीट पर एनडीए बनाम इंडिया के बीच मुकाबला होने के बजाय त्रिकोणीय लड़ाई बन गई। यह सीट बीजेपी के विधायक रहे चंदन राम दास के निधन के चलते रिक्त हुई है, जिसके चलते पार्टी ने उनकी पत्नि को उतारा है।
डुमरी सीट पर कड़ा मुकाबला
झारखंड की डुमरी विधानसभा उपचुनाव का मुकाबला बीजेपी के नेतृत्व वाले एनडीए और विपक्षी गठबंधन इंडिया के बीच माना जा रहा है। एनडीए की तरफ से आजसू प्रत्याशी यशोदा देवी चुनावी मैदान में हैं तो इंडिया की ओर से जेएमएम प्रत्याशी बेबी देवी उतरी हैं। असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी से अब्दुल मोबीन रिजवी चुनाव लड़ रहे हैं। डुमरी सीट पर जेएमएम का कब्जा रहा है, जहां से पूर्व शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो विधायक थे। जगरनाथ के निधन के बाद डुमरी विधानसभा सीट पर उपचुनाव हो रहा है।
पुथुपल्ली सीट पर भी घमासान
केरल की पुथुपल्ली विधानसभा सीट पर कांग्रेस नेतृत्व वाले यूडीएफ गठबंधन से पूर्व मुख्यमंत्री ओमन चांडी के बेटे चांडी ओमन मैदान में हैं तो लेफ्ट दलों के अगुआई वाले एलडीएफ गठबंधन से जैक सी थॉमस किस्मत आजमा रहे हैं। बीजेपी ने कोट्टायम के जिला अध्यक्ष जी लिजिनलाल ने भी ताल ठोक रखी है। यह सीट कांग्रेस के दिग्गज नेता ओमन चांडी के निधन के खाली हुई है, जिसके चलते पार्टी ने उनके बेटे को मैदान में उतारा है।
त्रिपुरा की दो सीटों पर उपचुनाव
त्रिपुरा की बॉक्सनगर और धनपुर विधानसभा सीट पर उपचुनाव हो रहे हैं। बॉक्सनगर सीट पर सीपीआई से मिजान हुसैन और बीजेपी से तफज्जुल हुसैन मैदान में हैं। कांग्रेस और टिपरा मोथा पार्टी टीएमपी ने वामदल को समर्थन का ऐलान कर रखा है, जिसके चलते मिजान हुसैन बीजेपी के लिए चुनौती बन गए हैं। इसी तरह से धनपुर विधानसभा सीट पर सीपीआई से कौशिक चंदा तो बीजेपी से बिंदु देबनाथ आमने-सामने मैदान हैं। कांग्रेस और टिपरा मोथा पार्टी टीएमपी ने वामदल को समर्थन का ऐलान कर रखा है। बॉक्सनगर सीट सीपीआई के विधायक रहे सैमसुल हक के निधन के बाद खाली हुई है तो धनपुर सीट बीजेपी नेता प्रतिमा भीमिक के इस्तीफे के कारण खाली हुई है।
धुपगुड़ी सीट पर त्रिकोणीय फाइट
पश्चिम बंगाल की धुपगुड़ी विधानसभा सीट पर बीजेपी से तापसी रॉय मैदान में हैं। टीएमसी से राजवंशी समुदाय से आने वाले प्रोफेसर निर्मल चंद्र रॉय को उतार रखा है तो सीपीआई से ईश्वर चंद्र रॉय किस्मत आजमा रहे हैं। कांग्रेस उपचुनाव नहीं लड़ रही है। धुपगुड़ी सीट पर उपचुनाव बीजेपी के बिष्णु पांडे के निधन के चलते हो रहा है। बीजेपी प्रत्याशी तापसी के पति सीआरपीएफ में थे और 2021 में वो शहीद हो गए हैं। तापसी टीएमसी से बीजेपी में आई हैं।
किसका पलड़ा होगा भारी?
छह राज्यों की सात विधानसभा सीटों पर हो रहे उपचुनाव को देखें तो चार सीटों पर एनडीए बनाम इंडिडा के बीच मुकाबाल माना जा रहा। घोसी और डुमरी में विपक्ष एकजुट है। इसी तरह से त्रिपुरा की दोनों सीटों पर भी यही दिख रहा है, लेकिन बागेश्वर में सपा के चुनाव मैदान में उतर जाने से कांग्रेस की चिंता बढ़ी हुई है। पश्चिम बंगाल की धुपगुड़ी सीट पर भी टीएमसी और लेफ्ट ने एक दूसरे खिलाफ ताल ठोक रखी है तो केरल की पुथुपल्ली सीट पर कांग्रेस और लेफ्ट एक दूसरे के खिलाफ चुनावी मैदान में हैं। बीजेपी ने डुमरी सीट पर अपने सहयोगी को लड़ाया है, जबकि कांग्रेस सिर्फ बागेश्वर सीट पर मैदान में हैं, उसने अधिकतर जगह समर्थन देने का ऐलान किया है। इस तरह से देखना है कि उपचुनाव में किसका पल्ला भारी रहता है?