बांग्लादेश में भारत का बजा डंका, अडानी पावर ने इतिहास रचा
ढाका। दुनिया की सबसे अमीर शख्सियतों में गिने जाने वाले अडानी समूह के अध्यक्ष गौतम अडानी ने आज बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना से मुलाकात की। ये मुलाकात भारत के गोड्डा में अडानी समूह के अल्ट्रा सुपर-क्रिटिकल थर्मल पावर प्लांट से बांग्लादेश को बिजली आपूर्ति की पूर्ण लोड की शुरुआत के बाद हुई है। इसलिए ये मुलाकात कई मायनों में खास है। बता दें कि गोड्डा यूएससीटीपीपी, जो अंतरराष्ट्रीय बिजली परियोजनाओं में अडानी समूह के प्रवेश का प्रतीक है, भारत की पहली चालू अंतरराष्ट्रीय बिजली परियोजना है। यहां उत्पादित बिजली शत-प्रतिशत दूसरे देश को आपूर्ति की जाती है। यही वजह है कि गोड्डा पावर प्लांट भारत-बांग्लादेश सहयोग का एक ज्वलंत उदाहरण है।
प्रधानमंत्री शेख हसीना के साथ हुई बैठक के बाद अडानी समूह के मुखिया गौतम अडानी ने ट्वीट करते हुए कहा कि “1600 मेगावाट के अल्ट्रा सुपर-क्रिटिकल गोड्डा पावर प्लांट के पूर्ण लोड प्रारंभ और हैंडओवर पर बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना से मुलाकात करके सम्मानित महसूस कर रहा हूं। मैं भारत और बांग्लादेश की समर्पित टीमों को सलाम करता हूं, जिन्होंने साढ़े तीन साल के रिकॉर्ड समय में संयंत्र को चालू करने के लिए कोविड का सामना किया।”
12 जुलाई को एपीजेएल ने पूरा किया था भरोसेमंद क्षमता परीक्षण
गौरतलब है कि अडानी पावर लिमिटेड की पूर्ण स्वामित्व वाली सहायक कंपनी अडानी पावर झारखंड लिमिटेड (एपीजेएल) ने 12 जुलाई को गोड्डा संयंत्र के लिए भरोसेमंद क्षमता परीक्षण पूरा कर लिया है। भरोसेमंद क्षमता परीक्षण, बांग्लादेश के साथ बिजली खरीद समझौता (पीपीए) के तहत एक अनिवार्य आवश्यकता थी। जिसे बिजली की आपूर्ति शुरू करने के बाद संयंत्र की दोनों इकाइयों के एक साथ कामकाज का मूल्यांकन करने के लिए सिर्फ छह घंटे की निर्धारित अवधि में ही आयोजित किया गया था। इससे पहले 6 अप्रैल को भारत के झारखंड में गोड्डा संयंत्र की 800 मेगावाट क्षमता की पहली इकाई ने वाणिज्यिक परिचालन शुरू किया था। जिसके बाद 26 जून को 800 मेगावाट क्षमता की दूसरी इकाई भी चालू हो गई। यहां आपको बता दें कि एपीजेएल, बांग्लादेश पावर डेवलपमेंट बोर्ड के साथ पीपीए के तहत गोड्डा यूएससीटीपीपी से बांग्लादेश ग्रिड से जुड़े 400 केवी समर्पित ट्रांसमिशन सिस्टम के माध्यम से 25 वर्षों की अवधि के लिए नवंबर 2017 में निष्पादित 1,496 मेगावाट की आपूर्ति करेगा।
सिर्फ 42 महीनों के रिकॉर्ड समय में चालू हुई यूएससीटीपीपी परियोजना
गोड्डा यूएससीटीपीपी के चालू होने के साथ अडानी समूह ने विश्व स्तरीय परियोजना प्रबंधन और संपत्ति प्रबंधन क्षमताओं का एक शानदार उदाहरण पेश किया है। जो पूरे विश्व में भारत के नाम को एक नई पहचान दिलाएगा। महत्वपूर्ण बात ये है कि वित्तीय समापन और आवश्यक मंजूरी प्राप्त करने के बाद सिर्फ 42 महीने के रिकॉर्ड समय में ही यूएससीटीपीपी का चालू होना, विशेष रूप से उल्लेखनीय है। क्योंकि इस परियोजना में 105 किमी लंबी 400 केवी डबल सर्किट ट्रांसमिशन लाइन की स्थापना व निर्माण सहित काफी तार्किक चुनौतियां शामिल थीं। जैसे एक निजी रेलवे लाइन और गंगा से एक व्यापक जल पाइपलाइन का कार्यान्वयन कराना भी काफी मुश्किल कार्य था। लेकिन अडानी समूह के द्वारा ये सभी चुनौतियां बेहद कम समय में दूर कर ली गईं और उसका नतीजा गोड्डा यूएससीटीपीपी के रूप में हमारे सामने मौजूद है।
कोविड महामारी की चुनौती को किया पार
इस दौरान दो साल कोविड महामारी का सामना करने में भी बीत गए। जिसने इस उपलब्धि को काफी प्रभावित किया। लेकिन इसके बावजूद अडानी ग्रुप की इंजीनियरिंग टीम ने टेली-बातचीत और वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी परीक्षण और कमीशनिंग प्रोटोकॉल को दूरस्थ रूप से संभालते हुए, परिस्थितियों को नए ढंगों से अपनाया और रिकॉर्ड समय में इस परियोजना को चालू किया। इस रिकॉर्ड समय में परियोजना का चालू होना, यह साबित करता है कि इन क्षेत्रों में अडानी की क्षमताएं वास्तव में विश्व स्तरीय हैं, जो उन्हें दुनिया भर के उद्योग में सर्वश्रेष्ठ के बराबर बनाती हैं।
अडानी ग्रुप के सहयोग से बांग्लादेश के आर्थिक विकास को मिलेगी रफ्तार
इस परियोजना से बांग्लादेश को भी काफी सहूलियत मिलेगी। वहीं यह परियोजना बांग्लादेश के विकास में भी एक अहम भूमिका निभाएगी। क्योंकि तरल ईंधन के उपयोग से उत्पन्न महंगी बिजली की जगह गोड्डा से आपूर्ति की जाने वाली बिजली बांग्लादेश की बिजली स्थिति पर सकारात्मक प्रभाव डालेगी। इस परिवर्तन से बांग्लादेश को खरीदी गई बिजली की औसत लागत कम करने में मदद मिलेगी। गोड्डा पावर प्लांट भारत में पहला है ऐसा प्लांट है जिसने उत्सर्जन को कम करने और मंत्रालय द्वारा निर्धारित मानदंडों के अनुरूप पर्यावरण अनुकूल संचालन के लिए 100% ग्रिप गैस डिसल्फराइजेशन (एफजीडी), सेलेक्टिव कैटेलिटिक रीकन्वर्टर (एससीआर) और शून्य जल डिस्चार्ज के साथ परिचालन शुरू किया है। भारत सरकार के पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन। गोड्डा यूएससीटीपीपी का चालू होना अडानी समूह और बीपीडीबी के लिए व दोनों देशों के बीच घनिष्ठ सहयोग और मजबूत आर्थिक संबंधों के लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। अडानी पावर प्रतिस्पर्धी टैरिफ पर निर्बाध और विश्वसनीय बिजली की आपूर्ति करके बांग्लादेश की आर्थिक वृद्धि और समृद्धि में भागीदार बन गया है। इस सहयोग से उद्योग के विकास को बढ़ावा मिलेगा और बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था मजबूत होगी।
भारत का सबसे बड़ा निजी ताप विद्युत उत्पादक है एपीएल
अडानी पावर लिमिटेड (एपीएल) की बात करें तो यह विविधीकृत अडानी समूह का एक हिस्सा है। जो भारत में सबसे बड़ा निजी ताप विद्युत उत्पादक है। कंपनी की स्थापित थर्मल क्षमता 15,210 मेगावाट है, जो गुजरात में 40 मेगावाट के सौर ऊर्जा संयंत्र के अलावा, गुजरात, महाराष्ट्र, कर्नाटक, राजस्थान, छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश के सात बिजली संयंत्रों में फैली हुई है। विशेषज्ञों की विश्व स्तरीय टीम की मदद से, एपीएल अपनी विकास क्षमता हासिल करने की राह पर है। कंपनी भारत को बिजली अधिशेष राष्ट्र में बदलने और सभी के लिए गुणवत्तापूर्ण और सस्ती बिजली प्रदान करने के लिए प्रौद्योगिकी और नवाचार का उपयोग कर रही है।