गायत्री प्रजापति के घर पहुंचे अखिलेश, तस्वीरें वायरल टेंशन में बीजेपी!
दोस्तों सूबे की सियासत में कब क्या हो जाए कुछ कहा नहीं जा सकता है। यहां अच्छा खासा दोस्त भी दुश्मन बन जाता है और सत्ता में बने रहने के लिए ईमानदार नेता भी बागी बन जाता है। खैर ये कोई नई बात नहीं है ऐसा कई मौकों पर देखा गया है जब खास से खास नेता ने बगावती सुर अपना लिए हों।

4पीएम न्यूज नेटवर्क: दोस्तों सूबे की सियासत में कब क्या हो जाए कुछ कहा नहीं जा सकता है। यहां अच्छा खासा दोस्त भी दुश्मन बन जाता है और सत्ता में बने रहने के लिए ईमानदार नेता भी बागी बन जाता है।
खैर ये कोई नई बात नहीं है ऐसा कई मौकों पर देखा गया है जब खास से खास नेता ने बगावती सुर अपना लिए हों। और बाद में फिरसे उसी दल में शामिल हो गए हों. इसी बीच सपा प्रमुख अखिलेश यादव द्वारा सोशल मीडिया पर डाली गई कुछ तस्वीरों ने हलचल बढ़ा दी है। और सियासी पंडितों ने अटकलें लगानी शुरू कर दी हैं। दरअसल हम बात कर रहे हैं ये एक ऐसे बागी परिवार से जुडी हुई हैं जिसे लेकर पहले से अटकलों का बाजार गर्म है।
ये तस्वीर है समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव की जो सपा की बागी विधायक कही जाने वाली महाराजी देवी के घर पहुंचे थे.सोशल मीडिया पर वायरल इस तस्वीर ने सियासी गलियारों में हलचल मचा दी है. बता दें कि ये तस्वीर अमेठी की गौरीगंज सीट से विधायक और पूर्व कैबिनेट मंत्री गायत्री प्रजापति की पत्नी महाराजी देवी की बेटी की शादी के दौरान की है. इस शादी में अखिलेश यादव का जाना आज प्रदेश की सियासत में चर्चा का विषय बना हुआ है।
इसके पीछे एक बड़ी वजह है और वो है हाल ही में महाराजी देवी को लेकर यह चर्चा थी कि वह सपा से बगावत करके बीजेपी के संपर्क में हैं. अब जो विधायक भाजपा के संपर्क में हो और उसे लेकर तरह-तरह की खबरें सामने आ रही हों इसके बावजूद सपा मुखिया का शादी में जाना भाजपा के लिए भी चिंता का सबब बना हुआ है।
बात की जाए महाराजी प्रजापति की बगावत को लेकर सामने आई ख़बरों की तो इसकी चर्चा हुई अभी हाल ही में हुए राज्यसभा चुनाव के दौरान . जब राज्यसभा चुनाव में सपा के आठ विधायक बागी हो गए थे जिनमें पूजा पाल, राकेश सिंह, अभय सिंह जैसे नेता शामिल थे. हालांकि महाराजी देवी इसमें शामिल नहीं हुईं. लेकिन उन्होंने तबीयत खराब होने का हवाला देते हुए मतदान से दूरी बना ली थी. जिसके बाद से ये माना जाने लगा कि वो भी सपा से बगावत कर सकती हैं।
हालांकि अमेठी की पड़ोसी गौरीगंज सीट से विधायक राकेश प्रताप सिंह ने खुलकर बगावत कर दी थी. इसलिए माना गया कि अमेठी में भी गायत्री प्रजापति का परिवार अब सपा से दूरी बना रहा है. वहीं बगावत के बाद सपा ने मनोज पांडे और अभय सिंह जैसे कई नेताओं को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया था. लेकिन गायत्री प्रजापति की पत्नी महाराजी देवी को अखिलेश यादव ने पार्टी से बाहर नहीं किया.
लेकिन उन्हें लेकर अटकलों का बाजार एक बार फिर गर्म हुआ जब बीते दिनों वह योगी आदित्यनाथ को लेकर ज्यादा सॉफ्ट दिखीं। दरअसल जाड हो अभी कुछ दिनों पहले ही गायत्री प्रजापति के ऊपर जेल के अंदर अटैक हुआ था. इसके बाद उन्हें पैरोल पर बाहर छोड़ा गया. फिर क्या जब उन्हें पैरोल पर बाहर छोड़ा गया तो महाराजी देवी ने पोस्ट करके मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को शुक्रिया कहा. बाकायदा सोशल मीडिया पर पोस्ट करते हुए उन्होंने लिखा कि – आज माननीय मुख्यमंत्री जी के कृपा आशीर्वाद से मेरे पति को इलाज हेतु एक महीने की पैरोल प्राप्त हुई है. यह हमारे परिवार के लिए बड़ी राहत और उम्मीद का क्षण है
जिससे उनका उपचार सही ढंग से कराया जा सकेगा. हम सभी शुभचिंतकों, साथ देने वालों सहयोगियों और आशीर्वाद देने वाले लोगों के प्रति हृदय से आभार प्रकट करते हैं. उनकी दुआओं से यह संभव हो पाया है. उस समय महाराजी देवी के इस पोस्ट को लेकर सियासी गलियारों में चर्चा रही। वहीं राज्यसभा चुनाव के दौरान भी महाराजी देवी नहीं आईं तब ऐसा माना गया कि वह बीजेपी के संपर्क में हैं और शायद अपने पति की वजह से इस तरीके का फैसला ले रही हैं.
लेकिन अब जब गायत्री प्रजापति बाहर हैं तब अखिलेश यादव उनके बेटी की शादी में पहुंच गए. जिसके बाद इस घटनाक्रम को लेकर अटकलों का बाजार गर्म हो गया। हालांकि अखिलेश यादव ने अपने सोशल हैंडल से इसे साझा तो जरूर किया. लेकिन उन्होंने किसी नाम का जिक्र नहीं किया. उन्होंने कैप्शन में सिर्फ शादी समारोह लिखा. हालांकि इसके भी कई मायने निकाले जा रहे हैं और इस मुलाकात को लेकर आगामी 2027 के यूपी विधानसभा चुनाव से भी जोड़ा जा रहा है। खैर ये तो आने वाले समय में ही तय हो पायेगा कि कौन किस दल में रहेगा और कौन छोड़कर जायेगा।
वहीं बात की जाए अगर गायत्री की तो कभी गायत्री प्रजापति गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करते थे. जिसके बाद मुलायम सिंह यादव के समय उनकी करीबी नेता जी से बढ़ी और इस बढ़ती मुलाकात का नतीजा यह रहा कि गायत्री अखिलेश यादव की सरकार में मंत्री भी बने. लेकिन अब में उनके ऊपर भ्रष्टाचार के आरोप लगे और उनके ऊपर रेप के भी आरोप लगे. इसी मामले में वह लंबे समय से जेल में बंद जेल में हमले के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया और फिलहाल वह पैरोल पर बाहर है.
वहीं उनके बहार आने के बाद एक मौका ऐसा रहा जब राजेश अग्रहरी के घर पर भी गायत्री प्रजापति पहुंचे थे. वहां पर भी बीजेपी नेताओं का खूब जबावड़ा था. तब भी चर्चा हुई थी कि क्या गायत्री बीजेपी के साथ हैं. ऐसे में अब अखिलेश यादव का महाराजी देवी के घर शादी फंक्शन में जाने को लेकर कई तरह के सवाल भी उठने लगे हैं और वायरल हो रही इन तस्वीरों को आगामी विधानसभा चुनाव से जोड़कर भी देखा जा रहा है।



