कॉल सेंटर के जरिये राजधानी में ड्रग्स के कारोबार पर ईडी का शिकंजा
लखनऊ। कॉल सेंटर के माध्यम से अमेरिका में अपने ग्राहकों को कॉल करके साइकोट्रोपिक पदार्थों के ऑर्डर प्राप्त करके पार्सल करना, फिर खातों में करोड़ों रूपए मंगाकर बड़े शहरों में आलीशान सम्पत्तियां खरीदना। ये खेल लखनऊ में एक कॉल सेंटर के जरिये करोड़ों के ड्रग्स कारोबार का है।
नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो, लखनऊ जोनल यूनिट द्वारा दर्ज मामले को आधार पर ईडी ने जब मनी लांड्रिंग की जांच शुरू की तो पूरे काले कारोबार का खुलासा होते देर नहीं लगी। ईडी ने फर्जी कंपनियों के सहारे जारी इस खेल की कर्ताधर्ता हत्श टेलीकॉम कंपनी की 3.24 करोड़ रुपये की संपत्तियों को जब्त कर लिया है।
ईडी ने राजधानी की इस टेलीकॉम कंपनी के निदेशक शांतनु गुप्ता, शशांक गुप्ता, अब्दुल वहाब यासिर, मोहित हलदर, पुनीत दुबे व अन्य के नाम लखनऊ, बाराबंकी और उत्तराखंड स्थित ऊधमसिंह नगर में खरीदी गयी संपत्तियों को पीएमएलए एक्ट के जरिये जब्त किया है।
ईडी अफसरों के मुताबिक मेसर्स हत्श टेलीकॉम और अन्य के खिलाफ जांच में पता चला कि शांतनु गुप्ता, शशांक गुप्ता, अब्दुल वहाब यासिर, मोहित हलधर, पुनीत दुबे और अन्य नौ फर्जी कंपनियों के माध्यम से सॉफ्टवेयर से संबंधित कारोबार की आड़ में लखनऊ में एक कॉल सेंटर के माध्यम से नशीले पदार्थों का कारोबार चला रहे थे।
सागर अस्थाना और पुनीत दुबे डाक के माध्यम से अमेरिका के ग्राहकों को पार्सल भेजते का काम करते थे। जब्त संपत्तियां 2013 और 2017 के बीच खरीदी गयी थी। जांच में कंपनियों के 43 बैंक खातों में 23.67 करोड़ रुपये अमेरिका समेत कई देशों से आने की पुष्टि भी हुई थी। खाते में यह रकम आते ही उसे तुरंत निकाल लिया जाता था। ईडी इस मामले की आगे जांच कर रही है।
मेसर्स एपिटोम टेली कम्युनिकेशंस प्राइवेट लिमिटेड, मेसर्स हत्श टेलीकॉम प्राइवेट लिमिटेड, मेसर्स जिओ पार्डी टेलीकॉम प्राइवेट लिमिटेड, मैसर्स मॉर्फियस टेलीकॉम प्रा. लिमिटेड, मैसर्स स्काई ड्रीम्स टेलीकॉम प्राइवेट लिमिटेड, मेसर्स स्काई हाई टेलीकम्युनिकेशन, मेसर्स सीजी टेलीकॉलर्स प्राइवेट लिमिटेड, मेसर्स वाईएस टेलीकॉम प्राइवेट लिमिटेड और मेसर्स 99 स्टाइल रिटेल प्राइवेट लिमिटेड के नाम से यह मनी लांड्रिंग का अवैध कारोबार किया जा रहा था।