झारखंड मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को हाईकोर्ट से बड़ा झटका, जमीन घोटाले में ईडी के सामने देनी होगी हाजिरी

नई दिल्ली। झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को सुप्रीम कोर्ट के बाद झारखंड हाईकोर्ट ने जोर का झटका दिया है. ईडी के समन के खिलाफ हाईकोर्ट पहुंचे हेमंत सोरेन की याचिका को सुनवाई के योग्य ही नहीं माना गया है. मामले की सुनवाई झारखंड हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश जस्टिस संजय कुमार मिश्रा और जस्टिस आनंद सेन की खंडपीठ में हुई. जहां हेमंत सोरेन की ओर से वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने उनका पक्ष रखा. वहीं ईडी की ओर से एडिशनल सॉलिसिटर जनरल एसवी राजू पेश हुए थे.
एडिशनल सॉलिसटर जनरल एसवी राजू ने कोर्ट को बताया कि झारखंड में जमीन घोटाले की जांच ईडी कर रही है. इस संबंध में पहले ही कई आरोपी अरेस्ट हो चुके हैं और इस मामले में सीएम हेमंत सोरेन से पूछताछ की जानी है. इसके लिए उन्हें पहली बार 14 अगस्त को पूछताछ के लिए बुलाया गया था. लेकिन उन्होंने ईडी के समन को नजरअंदाज किया. ऐसे में उन्हें दोबारा 24 अगस्त को और तीसरी बार 9 सितंबर को समन जारी किया गया. बावजूद इसके सीएम सोरेन ईडी के समक्ष हाजिर नहीं हुए.
ईडी की ओर से पक्ष रखते हुए एसवी राजू ने बताया कि आखिर में उन्हें चौथा समन 23 सितंबर को जारी हुआ. इसके बाद भी ईडी के सामने पेश होने के बजाय वह सुप्रीम कोर्ट चले गए थे. लेकिन वहां भी इन्हें कोई राहत नहीं मिली और सुप्रीम कोर्ट ने मामला हाईकोर्ट स्तर का बताते हुए सुनवाई से इनकार कर दिया था. इसी बीच ईडी ने उन्हें पांचवां समन जारी किया.
बावजूद इसके, सीएम सोरेन ने ईडी के सामने हाजिर होने के बजाय एक बार फिर हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद झारखंड हाइकोर्ट ने पीएमएलए की धारा 50 और 63 के आधार पर सीएम सोरेन की याचिका को खारिज कर दिया. ऐसे में अब सीएम सोरेन को हर हाल में ईडी के समक्ष हाजिर होना ही होगा.

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