बांग्लादेश में चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी पर भडक़े केजरीवाल, केंद्र सरकार से की हस्ताक्षेप की मांग

नई दिल्ली। बांग्लादेश में तख्तापलट के बाद से हिंदू समुदाय की स्थिति दिन प्रतिदिन खराब होती जा रही है. यहां बीते दिन बीच इस्कॉन के प्रमुख नेताओं में से एक चिन्मय कृष्ण दास को ढाका में गिरफ्तार कर लिया गया है. जिसके बाद से ही शास्त्री की गिरफ्तारी की निंदा की जा रही है. आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने नाराजगी जाहिर करते हुए इस घटना को अन्याय बताया है.
अरविंद केजरीवाल ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर नाराजगी जाहिर करते हुए लिखा कि बांग्लादेश में अन्यायपूर्ण तरीके से गिरफ्तार किए गए संत चिन्मय कृष्ण दास जी के साथ पूरा देश एकजुटता के साथ खड़ा है. केंद्र सरकार से अपील करता हूं कि इस मामले में हस्तक्षेप करके चिन्मयदास जी को जल्द से जल्द मुक्त कराएं.
भारत सरकार के विदेश मंत्रालय ने भी इस पर नाराजगी जाहिर की। विदेश मंत्रालय ने बयान में कहा कि हिंदुओं पर हमला करने वाले बेखौफ घूम रहे हैं, जबकि हिंदुओं के लिए सुरक्षा का अधिकार मांगने वाले हिंदू नेताओं को जेल में ठूंसा जा रहा है. विदेश मंत्रालय के बयान पर नाराजगी जाहिर करते हुए बांग्लादेश के विदेश मंत्रालय ने कहा कि यह उनका आंतरिक मामला है.
इस्कॉन ने कहा कि चिन्मय कृ्ष्ण दास और सनातन धर्म के लोगों को बांग्लादेश का नागरिक होने के लिए नाते न्याय का अधिकार है. हमारे खिलाफ होने वाले किसी भेदभाव को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. बता दें कि इस दौरान इस्कॉन बांग्लादेश ने बांग्लादेश की सरकार से तीन मांग की हैं, चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी पर इस्कॉन ने ट्वीट कर कहा- हमें परेशान करने वाली खबरें मिली हैं कि इस्कॉन बांग्लादेश के प्रमुख नेताओं में से एक चिन्मय कृष्ण दास को ढाका पुलिस ने हिरासत में ले लिया है. इस्कॉन का दुनिया में कहीं भी आतंकवाद से कोई लेना-देना नहीं है. इस बारे में बेबुनियाद आरोप लगाना अपमानजनक हैं.
इस्कॉन ने कहा कि हम सरकार से अपील करते हैं कि ऐसा माहौल बनाया जाना चाहिए, जिसमें सभी वर्गों के लोग शांति से साथ मिलजुलकर रहें. इस्कॉन ने कहा कि चिन्मय कृष्ण दास प्रभु बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों के अधिकारों के प्रति बहुत मुखर रहे हैं और सरकार को भी नागरिकों के अधिकारों की सुरक्षा सुनिश्चित करनी चाहिए. इस्कॉन ने सरकार के सामने कुछ मांगें रखी हैं, जिनमें इस्कॉन ने सनातन धर्म के लोगों पर हमले के दोषियों के दोषियों पर कार्रवाई, चिन्मय कृष्ण दास और अन्य सनातनियों के अधिकारों की सुरक्षा, देश में शांति और सद्भाव स्थापित करने के लिए तुरंत कदम उठाने की मांग की है.
ढाका पुलिस ने कहा है कि चिन्मय दास की गिरफ्तारी उनके खिलाफ दायर एक शिकायत के आधार पर की गई है. दास पर बांग्लादेश के राष्ट्र ध्वज को अपमानित करने के आरोप हैं. चिन्मय दास पर ये आरोप पूर्व बीएनपी नेता फिरोज खान ने लगाए हैं. खान का आरोप था कि 25 अक्टूबर को चटगांव में हिंदू समुदाय की एक रैली हुई थी.
यहीं चिन्मय दास और दूसरे 18 लोगों ने बांग्लादेश के राष्ट्रीय ध्वज का अनादर किया. हालांकि, दिलचस्प बात ये है कि तब बीएनपी के नेता रहे फिरोज खान आरोप लगाने के कुछ ही दिनों के बदा पार्टी विरोधी गतिविधियों के आरोप में बीएनपी से बाहर हो गए. उधर, पुलिस इस मामले में जांच में जुट गई और दो लोगों की गिरफ्तार कर चुकी है.

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