मारो और भागो….कहानी टीआरएफ के कायराना स्क्वॉड की, जो करती है टारगेट किलिंग

नई दिल्ली। जम्मू कश्मीर के पहलगाम में आंतकियों ने 26 लोगों की बर्रबर्तापूर्ण हत्या कर दी गई. इसमें दो विदेशी पर्यटक के साथ-साथ एक स्थानीय शख्स भी शामिल है. इस हमले को लेकर सुरक्षा एजेंसियों के सूत्रों के हवाले से कई बड़ी जानकारी सामने आई है. सूत्रों के मुताबिक, पहलगाम में हुआ आतंकी हमला पाकिस्तान की एक सोची-समझी साजिश का हिस्सा है. ये कायराना हरकत पाकिस्तान के आतंकियों ने अंजाम दी है. उन्होंने बेगुनाह लोगों को अपना निशाना बनाया, ताकि लोगों में डर फैला सकें.
इस साजिश में पाकिस्तान ने लश्कर ए तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद जैसे प्रतिबंधित आतंकी संगठनों का इस्तेमाल किया है, जो अब छोटे-छोटे हमलावर ग्रुप बनाकर बेगुनाह लोगों की हत्या कर रहे हैं. पहलगाम हमले के पहले रेकी की गई और फिर हमले को अंजाम दिया गया है.
ये का हमला अमरनाथ यात्रा शुरू होने से पहले किया गया है ताकि श्रद्धालुओं और पर्यटकों में डर फैलाया जा सके. सोनमर्ग में भी ऐसा ही एक हमला पहले हो चुका है. हमले के बाद माना जा रहा है कि द रेसिस्टेंस फ्रंट की ‘फाल्कन स्क्वॉड’ आने वाले दिनों में कश्मीर में बड़ी चुनौती बन सकती है.
ये ग्रुप टारगेटेड किलिंग (यानी चुनकर हत्या करना) और फिर जंगलों या ऊंचे इलाकों में छिप जाना अच्छी तरह से जानता है. सूत्रों का कहना है कि फाल्कन स्क्वॉड को हाल ही में बड़ी संख्या में एडवांस हथियारों की सप्लाई मिली है, जिनका इस्तेमाल अब हमलों में किया जा रहा है. हालांकि, एनआईए की टीम जांच के लिए जम्मू कश्मीर पहुंच चुकी है. चप्पे-चप्पे पर निगरानी रखी जा रही है.
इंटेलिजेंस रिपोर्ट्स के मुताबिक, फाल्कन स्क्वॉड सोशल मीडिया के जरिए अपने नए सदस्य जोड़ रहा है. ये ग्रुप ‘हिट एंड रन’ (मारो और भागो) की रणनीति पर काम करता है और ओवर ग्राउंड वर्कर्स के साथ मिलकर ऑपरेशन करता है.
असल में यह लश्कर-ए-तैयबा का ही एक फ्रंट है और फाल्कन स्क्वॉड उसी का हिस्सा है. लश्कर के टॉप लीडर्स अब सीधे ऐसे हमलों का आदेश दे रहे हैं. एनआईए इस केस की जांच अपने हाथ में लेने वाली है. दिल्ली से सीनियर अधिकारी हाल ही में सोनमर्ग गए थे और अब पहलगाम भी पहुंचेंगे.

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