म्यूकोर्मिकोसिस बन रहा मौत की वजह, अब तक गंवाई 32 लोगों ने जान
इंदौर। कोरोना के बाद जिस दूसरी बीमारी ने इन दिनों आम आदमी को हलकान कर रखा है वह ब्लैक फंगस। एक ओर जहां कोरोना संक्रमण के मामलों का ग्राफ नीचे आ रहा है तो वहीं दूसरी ओर ब्लैक फंगस के मरीजों की संख्या में तेजी से वृद्धि हो रही है। इस फंगस के चलते इन दिनों देश की स्वास्थ्य सेवा पर फिर से सवालिया निशान लग रहे हैं। म्यूकोर्मिकोसिस के मरीजों की तदाद जिस तेजी से बढ़ रही है उससे डॉक्टर भी हैरान हैं। वहीं दूसरी ओर जो खबरें आ रही हैं उनके अनुसार इस फंगस से बचाव के लिए जिस इंजेक्शन व दवाओं की जरूरत होनी चाहिए उनका बाजार में टोटा है। लिहाजा डॉक्टर चाहकर भी मरीजों के लिए कुछ खास नहीं कर पा रहे हैं।
मध्य प्रदेश में लगातार काले कवक संक्रमण (म्यूकोर्मिकोसिस) के बढ़ते मामलों ने सरकार को परेशान कर दिया है। इसी बीच इंदौर से एक बड़ी खबर सामने आई है। शहर के शासकीय महाराजा यशवंतराव चिकित्सालय (एमवाईएच) में पिछले 20 दिनों के भीतर इस काले फंगस के 32 मरीजों की मौत हो चुकी है। एमवायएच अधीक्षक प्रमेंद्र ठाकुर ने बुधवार को यह जानकारी मीडिया को दी।
बता दें कि ब्लैक फंगस के इलाज के लिए एमवायएच मध्य प्रदेश का सबसे व्यस्त अस्पताल है, जहां इंदौर के अलावा अन्य जिलों के भी मरीज भर्ती हैं। इस संबंध में एमवायएच के अधीक्षक प्रमेंद्र ठाकुर ने कहा, काले फंगस का पहला मरीज हमारे अस्पताल में 13 मई को भर्ती हुआ था और अब तक कुल 439 मरीज भर्ती हो चुके हैं। इनमें से 84 लोगों को इलाज के बाद छुट्टी दे दी गई, जबकि 32 मरीजों की मौत हो चुकी है।
इसके अलावा ठाकुर ने बताया कि एमवायएच में काले कवक के रोगियों की मृत्यु दर वर्तमान में 7.29 प्रतिशत है और यह दर राज्य के अन्य अस्पतालों की तुलना में कम है। साथ ही कहा कि काले कवक के मरीजों की जान बचाने के लिए हमने पिछले 20 दिनों में 200 से ज्यादा लोगों की सर्जरी की है। इसके अलावा उन्होंने बताया कि वर्तमान में एमवायएच में काले फंगस के 323 मरीज भर्ती हैं। इनमें से 14 लोग कोविड-19 से संक्रमित हैं, जबकि 301 लोगों को इस महामारी से उबरने के बाद काले फंगस की समस्या हो चुकी है। काले कवक के आठ अन्य रोगियों में कोविड-19 होने का कोई रिकॉर्ड नहीं है। हालांकि, ये आंकड़े बताते हैं कि कोविड-19 के संक्रमण से मुक्त होने के बाद 93 प्रतिशत रोगियों पर काले फंगस ने हमला किया। वैसे मध्य प्रदेश में इंदौर कोविड-19 से सबसे अधिक प्रभावित जिला है। सरकारी आंकड़ों के अनुसार 24 मार्च, 2020 से अब तक लगभग 35 लाख की आबादी वाले जिले में महामारी के कुल 1,50,516 मरीज मिल चुके हैं. इनमें से 1,347 लोगों की इलाज के दौरान मौत हो चुकी है।