जिन्ना के जिन्न ने फिर मचाई सियासी हलचल
नई दिल्ली। एक बार फिर से अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (एएमयू) में जिन्ना की तस्वीर की मौजूदगी का मसला तूल पकड़ रहा है, एक ओर जहां विश्वविद्यालय प्रशासन ने खुद को इस मामले से अलग करते हुए गेंद छात्र संघ में पाले में डाली है तो वहीं छात्रसंघ इसे चुनावी स्टंट का रंग बता रहा है। अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (एएमयू) में पाकिस्तान के कायदे-ए-आजम मोहम्मद अली जिन्ना की तस्वीर को लेकर एक बार फिर चर्चा शुरू हो गई हैं। अलीगढ़ के एक भाजपा कार्यकर्ता ने इस मामले में पीएम नरेंद्र मोदी को खून से पत्र लिखा है। उन्होंने अपने इस पत्र में जिन्ना को भारत माता को विखंडित करने वाला बताया है तथा यथाशीघ्र उसकी फोटों को हटाने की मांग की गई है। जबकि वर्ष 2018 लोकसभा में एक सवाल-जवाब में केंद्र सरकार पहले ही कह चुकी है कि तस्वीर हटाने का फैसला एएमयू के छात्र संघ द्वारा लिया जाएगा। इसके साथ ही एएमयू प्रशासन ने इस सारे मामले से खुद को पूरी तरह से अलग कर लिया है और कहा है कि तस्वीर लगाने या हटाने से उसका कोई लेना-देना नहीं है। उल्लेखनीय है कि पूर्व में सांसद सतीश गौतम भी इस मामले को उठा चुके हैं।
2018 में लोकसभा सत्र के दौरान भाजपा सांसद अश्विनी कुमार ने लोकसभा में जिन्ना की तस्वीर के संबंध में सवाल पूछा था। सवाल उठाते हुए सांसद ने पूछा था कि क्या जिन्ना की तस्वीर हटाने के लिए एएमयू में कोई मांग पत्र मिला है। इस संबंध में सरकार ने क्या कदम उठाए हैं। क्या सरकार इस मामले में ऐसी कोई पहल करेगी जिससे भारतीयों की भावनाएं आहत हो रही हैं। और उन्होंने यह भी पूछा था कि क्या सरकार एएमयू छात्र संघ से जिन्ना की आजीवन सदस्यता खत्म कर देगी।
सांसद अश्विनी कुमार के सवाल के जवाब में तत्कालीन मानव संसाधन विकास राज्य मंत्री डॉ सत्यपाल सिंह का कहना है कि उन्हें एएमयू ने इस बारे में बताया है कि एक सांसद ने तस्वीर हटाने के मुद्दे पर पत्र लिखा है। एएमयू ने भी कहा है कि छात्र संघ को भंग कर दिया गया है। और तस्वीर हटाने के मामले में कोई भी फैसला नवगठित छात्रसंघ द्वारा लिया जाएगा। एएमयू छात्रसंघ से जिन्ना की आजीवन सदस्यता समाप्त करने के सवाल पर डॉ सत्यपाल का कहना है कि इस मामले में सवाल ही नहीं उठता।
इस संबंध में जब छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष फैजुल हसन से बात की गई तो उन्होंने बताया कि मुहम्मद अली जिन्ना की तस्वीर यूनियन हॉल की दूसरी मंजिल पर एक हॉल में लगाई गई है। इस हॉल में 30 से ज्यादा तस्वीरें हैं। इन सभी तस्वीरों के बीच में मोहम्मद अली जिन्ना की तस्वीर भी है। इसमें दलाई लामा और कुछ ब्रिटिश अधिकारियों समेत अन्य लोगों की तस्वीरें भी हैं। यूपी चुनाव पर नजर डालें तो यह सब उनका चुनावी स्टंट है।
प्रोफेसर शफे किदवई, एमआईसी, पीआरओ आफिस ने कहा कि छात्रसंघ के यूनियन हॉल में मुहम्मद अली जिन्ना की तस्वीर लगाई गई है। लाइफ टाइम मेंबरशिप देने का काम भी संघ का ही है। मोहम्मद अली जिन्ना की तस्वीर यूनियन हॉल में और अन्य लोगों के साथ लगाना भी संघ का काम है। एएमयू प्रशासन का इससे कोई लेना-देना नहीं है।
एएमयू के छात्रसंघ हॉल में जिन्ना की तस्वीर लगाई गई है, यह खुलासा एक आरटीआई के जरिए हुआ है। यह सवाल आरटीआई में आलोक कुमार नाम के एक युवक द्वारा पूछा गया था। आरटीआई दाखिल होते ही एएमयू में जिन्ना की तस्वीर खोजने का काम शुरू हो गया। क्योंकि खुद एएमयू के केंद्रीय सूचना अधिकारी को भी यह नहीं पता था कि आखिरकार जिन्ना की तस्वीर किस विभाग में लगी हुई है। जानकारों के मुताबिक, इसके बाद सूचना अधिकारी ने हर विभाग को एक आरटीआई पत्र भेजकर तस्वीर से जुड़ी जानकारी मांगी थी। तब कहीं पता चला कि जिन्ना की तस्वीर स्टूडेंट यूनियन हॉल में लगाई गई है।