मोदी की एक गलती पड़ी भारी! समर्थन वापस लेंगे नीतीश-नायडू?
राहुल गांधी की रणनीति में फंसे पीएम मोदी! क्या नीतीश कुमार और चंद्रबाबू नायडू देंगे बड़ा झटका? समर्थन वापसी की अटकलों से मोदी सरकार पर संकट के बादल!

4पीएम न्यूज नेटवर्कः भारत की राजनीति में इन दिनों हलचल मची हुई है….. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं…… विपक्ष के नेता राहुल गांधी की एक चालाक रणनीति ने मोदी को मुश्किल में डाल दिया है….. वहीं अब सवाल यह उठ रहा है कि क्या बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार….. और आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू अपना समर्थन वापस ले लेंगे…… वहीं अगर ऐसा हुआ तो मोदी सरकार गिर सकती है….. यह सब एक गलती की वजह से हो रहा है…… जिसे राजनीतिक पंडित मोदी की बड़ी भूल बता रहे हैं…..
दोस्तों 2024 के लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी को पूर्ण बहुमत नहीं मिला…… बीजेपी ने 240 सीटें जीतीं…… लेकिन सरकार बनाने के लिए उसे राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के सहयोगियों पर निर्भर रहना पड़ा…… जनता दल (यूनाइटेड) के नीतीश कुमार की पार्टी को 12 सीटें मिलीं……. जबकि तेलुगु देशम पार्टी के चंद्रबाबू नायडू की पार्टी को 16 सीटें मिली….. इन दोनों नेताओं के समर्थन से मोदी तीसरी बार प्रधानमंत्री बने….. लेकिन यह गठबंधन शुरू से ही कमजोर लग रहा था…… नीतीश कुमार और नायडू दोनों ही पहले मोदी के विरोधी रह चुके हैं……. नीतीश ने कई बार पाला बदला है…… जबकि नायडू 2018 में एनडीए से अलग हो गए थे…..
बता दें लोकसभा चुनाव के बाद विपक्षी गठबंधन इंडिया ने नीतीश और नायडू को अपने साथ आने का ऑफर दिया……. लेकिन उन्होंने मोदी का साथ चुना….. वहीं अब 2025 में स्थिति बदल रही है……. राहुल गांधी की रणनीति ने इस गठबंधन में दरार डाल दी है……. यह चुनाव परिणामों से साफ है कि मोदी की लोकप्रियता में कमी आई है…… जिसमें देश का बड़ा राज्य उत्तर प्रदेश भी है……
राहुल गांधी ने अगस्त महीने में बिहार से ‘वोट अधिकार यात्रा’ शुरू की….. यह यात्रा 3000 किलोमीटर लंबी है…… और इसका मकसद मतदाता सूची में गड़बड़ियों को उजागर करना है…… राहुल का दावा है कि चुनाव आयोग ने लाखों वोटरों के नाम गलत तरीके से काट दिए या उन्हें मरा हुआ घोषित कर दिया….. इस यात्रा में राहुल उन लोगों से मिल रहे हैं जिनके नाम वोटर लिस्ट से हटाए गए…… यात्रा में भारी भीड़ उमड़ रही है…… जिससे विपक्ष को नई ऊर्जा मिली है…..
यह यात्रा बिहार में शुरू हुई…… जहां नीतीश कुमार मुख्यमंत्री हैं…… राहुल ने यहां वोट चोरी का मुद्दा उठाया….. और उन्होंने कहा कि बीजेपी और ईसीआई की मिलीभगत से विपक्षी वोटरों को दबाया गया…… सुप्रीम कोर्ट ने भी इस पर सख्ती दिखाई और ईसीआई को पूरी वोटर लिस्ट प्रकाशित करने का आदेश दिया…… इस यात्रा से युवाओं और गरीबों में राहुल की लोकप्रियता बढ़ी है…… राजनीतिक पंडित कहते हैं कि यह राहुल की रणनीति का हिस्सा है…… जो मोदी को कमजोर कर रही है…..
वहीं बिहार के विपक्षी नेता तेजस्वी यादव ने कहा कि यह यात्रा ईसीआई और बीजेपी की सच्चाई उजागर कर रही है…… यात्रा ने नीतीश कुमार को असहज कर दिया है…… क्योंकि बिहार में इसी साल चुनाव होने हैं….. अगर नीतीश एनडीए में रहते हैं…… तो उन्हें वोट चोरी के आरोपों का सामना करना पड़ेगा…..
मोदी सरकार की सबसे बड़ी गलती पीएम सीएम हटाओं बिल मानी जा रही है….. बता दें कि बिल गिरफ्तार प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और मंत्रियों को पद से हटाने का प्रावधान करता है…… गृह मंत्री अमित शाह ने 20 अगस्त को लोकसभा में यह बिल पेश किया……. बिल के मुताबिक अगर कोई नेता गंभीर आपराधिक मामले में गिरफ्तार होता है….. तो उसे पद से हटा दिया जाएगा…… विपक्ष ने इसे कठोर बिल बताया….. और कहा कि यह संघवाद पर हमला है……
आपको बता दें तेजस्वी यादव ने आरोप लगाया कि यह बिल नीतीश कुमार…… और चंद्रबाबू नायडू को ब्लैकमेल करने के लिए लाया गया है…… दोनों नेताओं पर पहले से ही जांच एजेंसियों के मामले लंबित हैं…… अगर ईडी या सीबीआई उन्हें गिरफ्तार करती है…… तो वे पद खो सकते हैं…… तेजस्वी यादव ने कहा कि यह बिल नीतीश और नायडू को दबाने की साजिश है….. विपक्ष का कहना है कि मोदी सरकार बहुमत साबित नहीं कर सकती…… इसलिए सहयोगियों को डराया जा रहा है……
वहीं यह बिल संसद के मॉनसून सत्र में पेश हुआ…… जहां विपक्ष ने जोरदार विरोध किया……. कांग्रेस नेता केसी वेणुगोपाल ने कहा कि यह बिल संघीय ढांचे को कमजोर करेगा….. आरजेडी के मनोज झा ने नीतीश और नायडू से अपील की कि वे जागें….. और इस निगरानी वाला राज्य का विरोध करें….. वहीं यह बिल मोदी की गलती इसलिए मानी जा रही है…… क्योंकि इससे सहयोगी नाराज हो सकते हैं…… नीतीश और नायडू पहले से ही मोदी के अकेले फैसले लेने से असहज हैं…… 2024 चुनावों के बाद मोदी ने गठबंधन की मजबूरी को नजरअंदाज किया….. और पुरानी टीम को ही रखा….. वहीं अब यह बिल सहयोगियों को लग रहा है कि मोदी उन्हें नियंत्रित करना चाहते हैं……
आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी ने 13 अगस्त को सनसनीखेज दावा किया कि चंद्रबाबू नायडू राहुल गांधी के संपर्क में हैं…… जगन ने कहा कि तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी दोनों के बीच ‘हॉटलाइन’ का काम कर रहे हैं…… इससे बीजेपी में हड़कंप मच गया…… अगर नायडू समर्थन वापस लेते हैं….. तो मोदी सरकार गिर जाएगी….. हालांकि, टीडीपी ने इन अटकलों को खारिज किया……. टीडीपी नेता नारा लोकेश ने कहा कि एनडीए एकजुट है…… और मोदी-नायडू की डबल इंजन सरकार जारी रहेगी…..
वहीं नीतीश कुमार के बारे में भी अफवाहें उड़ रही हैं….. बिहार में उनकी पार्टी जेडीयू विपक्ष के साथ जाति जनगणना पर खड़ी है…… नीतीश ने इजरायल को हथियार सप्लाई रोकने की मांग की, जो विपक्ष की लाइन है…… अगर बिहार चुनाव में हार हुई……. तो नीतीश पाला बदल सकते हैं……. एक एक्स पोस्ट में कहा गया कि नीतीश की अनुपस्थिति एनडीए को महंगी पड़ेगी……
राजनीतिक पंडित कहते हैं कि मोदी की विदाई तय लग रही है…… राहुल गांधी की यात्रा ने जनता में गुस्सा भरा है…… एक सीनियर बीजेपी नेता ने कथित तौर पर कहा कि राहुल की लोकप्रियता बढ़ रही है…… और मोदी का आकर्षण कम हो रहा है…… पाकिस्तान से सीजफायर, ट्रंप का अपमान और चीन से मुलाकात जैसे मुद्दे भी मोदी को नुकसान पहुंचा रहे हैं…..
वहीं अगर नीतीश और नायडू समर्थन वापस लेते हैं, तो सरकार गिर जाएगी……. लेकिन कुछ का मानना है कि दोनों नेता मोदी के साथ रहेंगे…… क्योंकि उनके खिलाफ जांच चल रही है…… नायडू को आंध्र में फंड चाहिए….. जबकि नीतीश को बिहार में सत्ता चाहिए….. फिर भी, बिल ने उन्हें चेतावनी दी है…… वहीं बिल आने के बाद से कहा जा रहा है कि दोनों ने अपनी कब्र खुद खोदी है…… वहीं विपक्ष का कहना है कि यह बिल सहयोगियों को धमकाने का तरीका है…… अगर नायडू राहुल से जुड़ते हैं….. तो यह बड़ा झटका होगा….. जगन का दावा सही साबित हुआ तो मोदी की विदाई तय है…..



