मणिपुर हाईकोर्ट ने रद्द किया मैतेई समुदाय को ST में शामिल करने का आदेश

इंफाल। मणिपुर हाईकोर्ट ने मैतेई समुदाय को अनुसूचित जनजाति (ST) में शामिल करने के 2023 के अपने आदेश में संशोधन कर दिया है। हाईकोर्ट का कहना है कि इस फैसले से राज्य में जातीय अशांति बढ़ सकती है। अब तक राज्य में भड़की जातीय हिंसा में 200 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है।

हाईकोर्ट के इस फैसले के बाद राज्य में काफी विरोध हुआ था। इसके बाद अदालत में पुनर्विचार याचिका दायर की गई थी। हाईकोर्ट में दायर पुनर्विचार याचिका में कहा गया था कि अदालत को अपने आदेश के पैराग्राफ 17(3) में संशोधन करना चाहिए। इसी पुनर्विचार याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने अपने ही फैसले में संशोधन किया है।

क्या था 27 मार्च 2023 का आदेश?

मणिुपर हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को निर्देश दिया था कि वो मैतेई समुदाय को अनुसूचित जनजाति का दर्जा देने पर विचार करे। बता दें कि पिछले साल 27 मार्च को हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को निर्देश दिया था कि वो मैतेई समुदाय को अनुसूचित जनजाति में शामिल करने पर विचार करे। अदालत के इस फैसले के बाद से पिछले साल मई से ही राज्य में जातीय हिंसा भड़क गई थी।

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