नए डीजीपी के नाम पर जल्द लगेगी मुहर, कुर्सी की दौड़ में नौ में तीन अफसर केन्द्रीय प्रतिनियुक्ति पर
लखनऊ। योगी सरकार के तीसरे पुलिस प्रमुख यानी डीजी पुलिस हितेश चंद्र अवस्थी के 30 जून को रिटायर होने के बाद उनकी कुर्सी पर बैठने वाले दावेदारों के नाम तय होने की प्रक्रिया प्रारंभ हो चुकी है। डीजीपी उत्तर प्रदेश के नौ दावेदारों के नाम केन्द्रीय गृह विभाग के पास भेजे भी गए हैं। इसके साथ ही प्रदेश पुलिस के नए मुखिया के नाम को लेकर चर्चाएं तेज हो गई हैं। इस पद के लिए नाम अगले सप्ताह की शुरुआत में बैठक में फाइनल हो सकता है। प्रदेश के नए पुलिस महानिदेशक के नाम को लेकर पुलिस विभाग के साथ ही शासन के साथ ही नेतानगरी में भी काफी अटकलें लगनी शुरू हो गई हैं। प्रदेश में विधान सभा चुनाव 2022 को देखते हुए भी नए डीजीपी की तैनाती को बेहद अहम माना जा रहा है। योगी आदित्यनाथ सरकार ने डीजीपी की तैनाती में अब तक तो वरिष्ठता सूची को ही वरीयता दी है। डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी 30 जून को अपना कार्यकाल पूरा कर रहे हैं और वह पहले ही सेवाविस्तार की अटकलों को विराम दे चुके हैं। अब इस पद के नए दावेदारों की वरिष्ठता सूची पर नजर दौड़ाई जाए तो केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात 1986 बैच के आईपीएस अधिकारी नासिर कमाल सबसे आगे हैं। उनका कार्यकाल भी जुलाई, 2022 तक है। इसके अलावा जिन अधिकारियों के पास इस पद की दावेदारी के लिए पर्याप्त कार्यकाल है, उनमें केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात 1987 बैच के आईपीएस अधिकारी मुकुल गोयल और डीजी ईओडब्ल्यू के पद पर तैनात इसी बैच के डॉ. आरपी सिंह के नाम आगे हैं। इन दोनों को ही इस पद के मजबूत दावेदार के रूप में देखा जा रहा है। इनके बाद 1987 बैच के ही आइपीएस अधिकारी विश्वजीत महापात्रा व जीएल मीणा के नाम हैं। 1988 बैच के आइपीएस अधिकारी और डीजी पुलिस भर्ती व प्रोन्नति बोर्ड डा.आरके विश्वकर्मा के साथ इसी बैच के आइपीएस अधिकारी डीएस चौहान व आनन्द कुमार भी डीजीपी की रेस में दावेदार के रूप में देखे जा रहे हैं। डीएस चौहान वर्तमान में डीजी इंटेलीजेंस व आनन्द कुमार डीजी जेल के पद पर तैनात हैं। केंद्रीय प्रतिनियुक्ति में तैनात 1988 बैच के आईपीएस अधिकारी अनिल कुमार अग्रवाल का नाम भी वरिष्ठता सूची में शामिल है। योगी आदित्यनाथ सरकार के कार्यकाल में सुलखान सिंह व ओपी सिंह के बाद हितेश चंद्र अवस्थी तीसरे डीजीपी बने थे।