बैलेट पेपर से चुनाव कराने वाली याचिका सुप्रीम कोर्ट से खारिज
सुप्रीम कोर्ट ने आज (26 नवंबर) को इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (EVM) के बजाय चुनावों में बैलेट पेपर के इस्तेमाल की मांग वाली याचिका को खारिज कर दिया है...
4PM न्यूज़ नेटवर्क: सुप्रीम कोर्ट ने आज (26 नवंबर) को इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (EVM) के बजाय चुनावों में बैलेट पेपर के इस्तेमाल की मांग वाली याचिका को खारिज कर दिया है। इस मामले में जस्टिस विक्रम नाथ और पीबी वराले की पीठ ने कहा कि ‘जब आप चुनाव जीतते हैं, तो EVM से छेड़छाड़ नहीं होती है। जब आप चुनाव हार जाते हैं, तो EVM से छेड़छाड़ हो जाती है। जस्टिस विक्रम नाथ और जस्टिस पीबी वराले की पीठ ने याचिका को खारिज करते हुए कई टिप्पणियां कीं। दरअसल, याचिकाकर्ता की ओर से दलील दी गई थी कि 18 राजनीतिक दलों का समर्थन उन्हें हासिल है। चंद्रबाबू नायडू और जगन मोहन रेड्डी जैसे नेता भी कह चुके हैं कि EVM के साथ छेड़छाड़ की जा सकती है।
इसे लेकर जस्टिस विक्रम नाथ ने कहा कि जब चंद्रबाबू नायडू और जगन मोहन रेड्डी जैसे नेता चुनाव हार जाते हैं, तो वो कहते हैं कि EVM के साथ छेड़छाड़ हुई है, लेकिन जब वो ही इसके जरिए चुनाव जीत जाते हैं तो फिर कुछ नहीं बोलते, तब EVM में खामी नज़र नहीं आती। आपको बता दें कि याचिकाकर्ता केए पॉल ने कहा कि लोकतंत्र की रक्षा के लिए मतपत्रों को फिर से लागू करना जरूरी है और EVM से छेड़छाड़ की आशंका है। साथ ही उन्होंने कहा कि आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू, पूर्व मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी ने दावा किया है कि EVM से छेड़छाड़ की जा सकती है।
याचिकाकर्ता ने एलन मस्क के बयान हवाला देते हुए कहा था कि एलन मस्क भी कहते हैं कि (ईवीएम) EVM से छेड़छाड़ की जा सकती है। याचिकाकर्ता पॉल ने कहा कि मैं लॉस एंजिल्स से एक बड़े वैश्विक शांति शिखर सम्मेलन से आ रहा हूं। हमारे पास सेवानिवृत्त आईएएस, आईपीएस और न्यायाधीश हैं, वे मेरा समर्थन कर रहे हैं।
महत्वपूर्ण बिंदु
- डॉक्टर पॉल ने यह भी कहा कि 18 राजनीतिक दलों ने उनकी याचिका का समर्थन किया है और चुनाव आयोग की रिपोर्ट का हवाला दिया है, जिसमें चुनाव के दौरान करीब 9000 करोड़ रुपये जब्त किए गए हैं।
- आंध्र प्रदेश के उदाहरणों का हवाला देते हुए कहा कि चंद्रबाबू नायडू और जगन रेड्डी जैसे राजनीतिक नेताओं ने ईवीएम से छेड़छाड़ को लेकर चिंता व्यक्त की है।