रवि प्रदोष व्रत कल, जानिए पूजा का शुभ मुहूर्त
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4PM न्यूज़ नेटवर्क: हिंदू धर्म के अनुसार रवि प्रदोष व्रत विशेष महत्त्व है। इस दिन भगवान शिव को समर्पित प्रदोष व्रत की पूजा प्रदोष काल में करने का विधि विधान है। भगवान शिव की पूजा करने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है। कल यानी 9 फरवरी को प्रदोष व्रत रखा जाएगा। यह व्रत भगवान शिव और माता पार्वती को समर्पित माना गया है। ऐसे में धार्मिक मान्यता है कि प्रदोष व्रत के दिन पूजा-अर्चना करने से भगवान शिव की कृपा बरसती है, जिसके कारण जीवन में सुख-समृद्धि और सफलता की प्राप्ति होती है। एक महीने में 2 प्रदोष व्रत किए जाते हैं।
इस दिन सुबह से शाम तक व्रत किया जाता है और प्रदोष काल में विधि-विधान से पूजा-अर्चना की जाती है। इसके बाद ही व्रत का पारण किया जाता है। कल माघ माह की आखिरी प्रदोष व्रत रखा जाएगा। ऐसे में आइए जानते हैं रवि प्रदोष व्रत में शुभ मुहूर्त क्या है? पूजा विधि क्या है?
- प्रदोष व्रत के दिन शिवलिंग का पंचामृत जिसमें दूध,दही,घी,शहद और गुड़ होता है, से अभिषेक करना चाहिए।
- प्रदोष व्रत के दिन शिवलिंग पर बेलपत्र, फल, फूल, धूप-दीप और नौवैद्य चढ़ाना चाहिए।
शुभ मुहूर्त
- रवि प्रदोष व्रत में शिव पूजा का मुहूर्त 9 फरवरी की शाम 7 बजकर 25 मिनट से लेकर 8 बजकर 42 मिनट तक रहेगा।
- यह प्रदोष काल समय है और इसी समय में प्रदोष व्रत की पूजा की जाती है।
- अगर व्रत रखना है तो हाथ में पवित्र जल, फूल और अक्षत लेकर व्रत रखने का संकल्प लें।
- फिर संध्या के समय घर के मंदिर में गोधूलि बेला में दीपक जलाएं।
- फिर शिव मंदिर या घर में भगवान शिव का अभिषेक करें।
- शिव परिवार की विधिवत पूजा-अर्चना करें।