पुणे नगर निगम चुनाव में बदला समीकरण, महायुति में दरार, चुनाव से पहले मानी हार!

पुणे नगर निगम चुनाव से पहले राजनीति में बड़ा उलटफेर देखने को मिल रहा है... वर्षों बाद दोनों पवार एक मंच पर नजर आ रहे हैं...

4पीएम न्यूज नेटवर्कः पुणे, महाराष्ट्र की सांस्कृतिक और शैक्षणिक राजधानी है.. जो एक बार फिर राजनीतिक सुर्खियों में है.. जैसे-जैसे पुणे नगर निगम चुनाव नजदीक आ रहे हैं.. वैसे-वैसे सियासी समीकरण तेजी से बदल रहे हैं.. वर्षों बाद पवार परिवार के दो धड़े एक साथ आते दिख रहे हैं.. जबकि ठाकरे भाइयों की एकजुटता.. और कांग्रेस की नई रणनीति ने पूरे महाराष्ट्र की राजनीति में हलचल मचा दी है..

आपको बता दें कि पुणे नगर निगम चुनाव 2025-26 के लिए तैयारियां जोरों पर हैं.. PMC की आधिकारिक वेबसाइट के अनुसार.. मतदाता सूची 1 जुलाई 2025 को वैध मानी गई है.. और नामांकन प्रक्रिया 23 दिसंबर 2025 से 29 दिसंबर 2025 तक चलेगी.. चुनाव अधिकारी ओमप्रकाश दिवते ने हाल ही में उम्मीदवारों के देय NOC सेल का दौरा किया.. जो दिखाता है कि चुनावी प्रक्रिया सुचारू रूप से चल रही है.. PMC में कुल 41 वार्ड और 165 पार्षद पद हैं.. जो शहर की राजनीति को तय करते हैं.. पिछली बार 2017 में हुए चुनावों में भाजपा ने बड़ी जीत हासिल की थी.. लेकिन अब स्थिति बदल चुकी है..

महाराष्ट्र की राजनीति में महाविकास अघाड़ी गठबंधन, जिसमें कांग्रेस, शिवसेना (UBT) और एनसीपी (शरद पवार गुट) शामिल हैं.. उसमें दरार पड़ गई है.. जिसका मुख्य कारण एनसीपी के दो गुटों का एक साथ आना है.. शरद पवार और अजित पवार के नेतृत्व वाले एनसीपी गुटों ने पुणे चुनाव के लिए हाथ मिलाने का फैसला किया है.. वहीं यह फैसला अप्रत्याशित है.. क्योंकि अजित पवार गुट महायुति का हिस्सा है.. जबकि शरद पवार गुट MVA में है.. एनसीपी (SP) नेता अंकुश काकडे ने कहा है कि.. दोनों गुटों की विचारधारा एक जैसी है.. और वे साथ मिलकर चुनाव लड़ेंगे.. आपको बता दें सीट बंटवारे पर चर्चा चल रही है.. जिसमें MVA के अन्य साझेदारों को भी शामिल किया जाएगा..

वहीं इसके जवाब में कांग्रेस और उद्धव ठाकरे की शिवसेना (UBT) ने नई रणनीति अपनाई है.. कांग्रेस ने UBT को गठबंधन का औपचारिक प्रस्ताव भेजा है.. और सीट बंटवारे पर बातचीत हो रही है.. साथ ही UBT ने राज ठाकरे की महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना से भी गठबंधन की बात की है.. हालांकि, यह गठबंधन मुख्य रूप से मुंबई नगर निगम चुनाव के लिए है.. जहां UBT-MNS ने सीट बंटवारा तय किया है.. जिसमें UBT को 145-150 सीटें, MNS को 65-70 सीटें देने पर विचार चल रहा है.. वहीं सीट बंटवारा लगभग फाइनल माना जा रहा है..   पुणे के संदर्भ में कांग्रेस नेता मोहन जोशी ने मुंबई में हुई कोर कमेटी बैठक में UBT के साथ गठबंधन की पुष्टि की है.. लेकिन कुछ रिपोर्ट्स बताती हैं कि कांग्रेस पुणे में अकेले चुनाव लड़ सकती है.. क्योंकि गठबंधन में अनिश्चितता बनी हुई है..

बता दें शरद पवार और अजित पवार के बीच वर्षों की दरार के बाद यह पहला मौका है.. जब दोनों गुट एक साथ चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं.. अजित पवार महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री हैं.. उन्होंने कहा है कि एनसीपी 80 सीटों पर चुनाव लड़ेगी.. और बाकी 80 सीटें MVA साझेदारों को ऑफर करेगी.. सुप्रिया सुले ने संकेत दिया है कि अजित पवार ने विचारधारा नहीं छोड़ी है.. और BMC जैसे अन्य चुनावों में भी ऐसा टाई-अप हो सकता है.. हालांकि, शरद पवार ने सार्वजनिक रूप से इस पर कोई टिप्पणी नहीं की है..

जानकारी के मुताबिक यह एकजुटता भाजपा के लिए चुनौती बन सकती है.. शिवसेना (UBT) नेता संजय राउत ने चेतावनी दी है कि.. एनसीपी (SP) का अजित पवार से हाथ मिलाना भाजपा से हाथ मिलाने जैसा है.. पुणे में एनसीपी की मजबूत पकड़ है.. और दोनों गुटों का साथ मिलना विपक्ष को मजबूत कर सकता है.. लेकिन अजित पवार ने कांग्रेस से भी संपर्क किया है.. जो दिखाता है कि स्थानीय स्तर पर ‘फ्रेंडली फाइट’ की संभावना है..

आपको बता दें कि उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे के बीच वर्षों की दुश्मनी के बाद अब मराठी मानुष के मुद्दे पर एकजुटता दिख रही है.. UBT और MNS ने BMC चुनाव के लिए गठबंधन घोषित किया है.. जो मुंबई की राजनीति को बदल सकता है.. संजय राउत ने कहा है कि मनोमिलन हो चुका है.. और पुणे जैसे अन्य शहरों में भी चर्चा हो सकती है.. और कांग्रेस इस गठबंधन में शामिल हो सकती है.. लेकिन पुणे के लिए पार्टी ने स्थानीय इकाई को अकेले लड़ने का निर्देश दिया है..

पिछले चुनावों में UBT के 10 पार्षद थे.. लेकिन दलबदल के कारण अब PMC में उनका कोई प्रतिनिधि नहीं बचा है.. सात पार्षद भाजपा में चले गए.. बाकी बचे पार्षद अन्य गुटों में शामिल हो गए.. कांग्रेस ने 2017 में अकेले लड़कर केवल 10 सीटें जीतीं.. जबकि अजित पवार ने तब गठबंधन का प्रस्ताव दिया था.. जिसे कांग्रेस ने ठुकरा दिया.. लेकिन अब स्थिति उसके उलट है.. और कांग्रेस UBT-MNS के साथ त्रिकोणीय गठबंधन बना सकती है.. सूत्रों के मुताबिक शुक्रवार को सीट बंटवारे पर बात होगी..

 

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