करीब 11 लाख परिवारों को सीएम योगी ने दी घरौनी, कहा, अब दबंग नहीं कर पाएंगे गरीबों के घरों पर कब्जा

घरौनी से मिलेगा संपत्ति का अधिकार, बैंकों से मिल सकती वित्तीय सहायता

  • एंटी भू-माफिया अभियान चला रही है सरकार

 4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने स्वामित्व योजना के तहत आज प्रदेश के करीब 11 लाख परिवारों को डिजिटल माध्यम से घरौनी प्रमाण पत्र दिए। उन्होंने कहा कि अब कोई दबंग किसी गरीब के घर पर कब्जा नहीं कर पाएगा। प्रदेश में जालौन ऐसा जिला है जहां 100 प्रतिशत ग्रामीण क्षेत्रों में घरौनी प्रमाण पत्र दिया जा चुका है। 2023 तक हर परिवार को प्रमाण पत्र दे दिया जाएगा।
उन्होंने कहा कि सरकार ने 2017 से ही भू-माफियाओं और राजनीतिक संरक्षित लोगों के खिलाफ एंटी भू-माफिया अभियान चला रखा है। आज जनजातियों के पास उनकी भूमि पट्टा, प्रधानमंत्री आवास, शौचालय और विद्युत कनेक्शन है। हर बुजुर्ग, निराश्रित महिलाओं और दिव्यांगजनों को पेंशन दी जा रही है। पिछले पांच वर्षों से राजस्व अभिलेखों का तेजी से डिजिटाइजेशन हो रहा है। रजिस्ट्री विभाग को राजस्व विभाग के साथ मिलकर कार्य करना होगा। पैमाइश से जुड़ी समस्याओं को समय से निर्धारित करके पूरा कर लेना चाहिए। आज 10, 81062 परिवारों को घरौनी वितरण किया गया है। इससे ग्रामीण स्तर पर बड़े बदलाव होंगे। उन्हे उनके संपत्ति का अधिकार मिलेगा। बैंकों से वित्तीय सहायता में फायदा मिलेगा। यूपी में अभी तक 34 लाख परिवारों को ये प्रमाण पत्र दिए जा चुके हैं।

ये दर्ज होंगे घरौनी में

  •  घरौनी में संपत्ति के स्वामी का जिला, तहसील, ब्लॉक, थाना, ग्राम पंचायत का नाम दर्ज होगा।
  •  ग्राम कोड और गांव के नाम का भी उल्लेख होगा, इसमें सर्वेक्षण वर्ष भी अंकित रहेगा।
  • संपत्ति का आबादी गाटा संख्या और भूखंड संख्या भी दर्ज होगी।
  • प्रत्येक भूखंड का 13 अंकों का यूनिक आईडी नंबर भी इसमें अंकित किया जाएगा।
  • संपत्ति के वर्गीकरण को भी इसमें दर्शाया जाएगा।
  • आवासीय भूखंड का क्षेत्रफल और भूखंड की चौहद्दी का भी उल्लेख।

एक क्लिक में निकाल सकेंगे दस्तावेज

अब किसान के पास खेती के कागजों के साथ घर के दस्तावेज भी होंगे। ये सभी सरकारी रिकार्ड में दर्ज होंगे जिसे ग्रामीण एक क्लिक में तहसील से अपने घर के कागजात निकाल सकेंगे, जिसे घरौनी कहा जाएगा। इसके लिए शासन ने स्वामित्व योजना शुरू की है।

हिंसा पर उतरी शिवसेना, बागी विधायकों ने बनाया नया गुट

  • शिंदे के करीबी विधायक सावंत के कार्यालय में की तोडफ़ोड़
  • उद्धव ने बुलायी बैठक, हाई अलर्ट पर पुलिस

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
मुंबई। महाराष्ट्र में सियासी उठापटक के बीच शिवसेना के कार्यकर्ता हिंसक हो गए। उन्होंने आज एकनाथ शिंदे गुट के विधायक तानाजी सावंत के कार्यालय में तोडफ़ोड़ की है। वहीं एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में बागी विधायकों ने नए गुट का गठन किया और उसका नाम शिवसेना बालासाहेब रखा है। इस बीच सीएम उद्धव ठाकरे ने कार्यकारिणी की बैठक बुलायी है। माना जा रहा है कि पार्टी के 16 विधायकों को अयोग्य ठहराने को लेकर आज नोटिस जारी हो सकता है।
हिंसा के बीच शिंदे ने कहा है कि विधायकों की सुरक्षा हटा ली गई है, अगर उनके परिवार को कुछ हुआ तो उसके लिए उद्धव और आदित्य ठाकरे जिम्मेदार होंगे। हिंसा के जरिए विधायकों को धमकाने का यह तरीका सफल नहीं होगा। वहीं शिंदे के करीबी दीपक केसकर ने बताया कि गुवाहाटी में बागी विधायकों ने शिवसेना बालासाहेब ठाकरे नाम से नया गुट बनाने की घोषणा की है। गौरतलब है कि शिंदे की बगावत से उद्धव सरकार पर संकट गहरा गया है।

महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग

अमरावती सांसद नवनीत राणा ने कहा कि मैं अमित शाह से उन विधायकों के परिवारों को सुरक्षा प्रदान करने का अनुरोध करता हूं जो उद्धव ठाकरे को छोडक़र बालासाहेब की विचारधारा से जुड़े रहकर अपने निर्णय ले रहे हैं। उद्धव ठाकरे की गुंडागर्दी खत्म होनी चाहिए। मैं राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने का अनुरोध करता हूं।

एनडीए की राष्ट्रपति उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू को मिला बसपा का साथ

  • मायावती ने किया समर्थन देने का ऐलान

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
लखनऊ। बसपा प्रमुख मायावती ने राष्ट्रपति जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) की राष्टï्रपति पद की उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू को आज समर्थन देने का ऐलान किया।
बसपा प्रमुख मायावती ने कहा कि हमने एनडीए के राष्ट्रपति चुनाव की उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू को समर्थन देने का फैसला किया है। यह फैसला न तो भाजपा या एनडीए के समर्थन में और न ही विपक्ष के खिलाफ है। हम पार्टी व आंदोलन को ध्यान में रखते हुए एक आदिवासी समाज की योग्य और कर्मठ महिला को देश की राष्ट्रपति बनाने के पक्ष में हैं। उन्होंने कहा कि हमें सरकार और विपक्ष ने अलग-थलग रखा।

यशवंत सिन्हा ने मोदी और राजनाथ से मांगा समर्थन

18 जुलाई को होने वाले राष्ट्रपति चुनाव के लिए विपक्ष के साझा प्रत्याशी व पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा ने भाजपा के शीर्ष नेता लालकृष्ण आडवाणी, पीएम नरेंद्र मोदी व रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह को फोन कर समर्थन मांगा है। सिन्हा अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार में केंद्रीय वित्त व विदेश मंत्री रह चुके हैं।

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