कांग्रेस ने बीजेपी को दी मात, महाराष्ट्र में जीती 17 सीटें

लोकसभा चुनाव में बीजेपी को महाराष्ट्र में तगड़ा झटका लगा है... और कांग्रेस ने 17 सीटों पर जीत दर्ज कर सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है... जिससे महायुति में खलबली मची हुए है... 

4पीएम न्यूज नेटवर्कः लोकसभा चुनाव को लेकर जारी महाभारत थम गया है… तमाम कोशिशों के बाद भी महाराष्ट्र की जनता ने बीजेपी समेत उसकी सहयोगी पार्टियों ने नकार दिया है… और महाराष्ट्र से भी दो हजार चौबीस के चुनाव में निराशा ही हाथ लगी है… बता दें कि बीजेपी और मोदी को जो उम्मीद थी और जिस उम्मीद के भरोसे मोदी चुनाव प्रचार कर रहे थे… और खुद को मसीहा समझ रहे थे… लेकिन इस चुनाव में ठीक इसता उलट हुआ… वहीं बीजेपी महाराष्ट्र के साथ-साथ पूरे देश में बहुमत का आंकड़ा नहीं छू पाई है… जिसके बाद बीजेपी अपने सहयोगी दलों के साथ मिलकर बहुमत जुटाने की जुगत में है… बता दें कि भगवान राम और राम मंदिर के मुद्दे को लेकर मोदी चुनाव मैदान में थे… और विपक्ष को लेकर अनर्गल बातें कर रहे थे… लेकिन मोदी ने किसी भी मंच से एक भी बार जनता के हित के लिए एक भी बात नहीं की थी… चुनाव प्रचार के दौरान बीजेपी के किसी भी नेता ने देश में व्याप्त महंगाई, बेरोजगारी और भ्रष्टाचार समेत देश में व्याप्त अहम मुद्दों पर किसी ने कोई बात नहीं की… मोदी समेत बीजेपी के शीर्ष नेताओं ने सिर्फ देश को तोड़ने और संविधान को बदलने की राजनीति की… जिसको देखते हुए महंगाई, बेरोजगारी से परेशान जनता ने बीजेपी और मोदी को तगड़ा सबक सिखाया… और राम मंदिर का मुद्दा भी काम नहीं आया… मोदी का अहंकार चकनाचूर हो गया…

वहीं अपने आप को भगवान बताने वाले मोदी के अहंकार को भगवान ने ही चकनाचूर कर दिया… और उनके बड़बोले पन का खामियाजास बीजेपी को भुगतना पड़ा… बता दें लोकसभा चुनाव दो हजार उन्नीस और दो हजार चौबीस में बहुमत का आंकड़ा पार करने वाली बीजेपी दो हजार चौबीस के चुनाव में महज दो सौ चासीस सीटों पर सिमट कर रह गई… जिससे मोदी की देश ही नहीं बल्कि विदेशों में भी जमकर फजीहत होने लगी… वहीं अपनी गारंटी देने वाले मोदी रिजल्ट के बाद अपने संबोधन में भगवान राम का नाम नहीं लिया… इससे यह अंदाजा लगाया जा सकता है… कि मोदी के अंदर भगवान राम के प्रति कितनी प्रेम है… और भगवान के लिए मोदी कितने समर्पित है… बता दें कि मोदी कहीं न कहीं अपने हार का जिम्मेदार भगवान राम को मानते हैं… जिसके चलते अब मोदी भगवान राम का नाम लेना ही बंद कर दिए है…

आपको बता दें कि मोदी के बड़बोले पन का असर महाराष्ट्र में भी दिखाई दिया और वहां पर नकली शिवसेना और नकली एनसीपी ने मोदी को तगड़ा सबक सिखा दिया… और नवनीत राणा जैसे दिग्गज चुनाव हार गए… वहीं डिप्टी सीएम की पत्नी सुनेत्रा पवार को भी करारी हार का सामना करना पड़ा जिसके बाद से महाराष्ट्र महायुति में उथल-पुथल देखने को मिली… और डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने महाराष्ट्र में हार की जिम्मेदारी लेते हुए अपने डिप्टी सीएम पद से इस्तीफा दे दिया… वहीं लोकसभा में करारी हार के चलते अब सभी महायुति के नेता विधानसभा चुनाव की तैयारी में जुट गए हैं… इस बीच महाराष्ट्र के सांगली से निर्दलीय चुनाव जीतने के बाद विशाल पाटिल ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से मुलाकात कर अपना समर्थन दिया…. कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने सांगली से निर्वाचित सांसद विशाल पाटिल के समर्थन का स्वागत किया…. इस दौरान उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र की जनता ने अहंकार और बांटने वाली राजनीति को सबक सिखाया है….

बता दें कि कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा कि महाराष्ट्र की जनता ने विश्वासघात, अहंकार और विभाजन की राजनीति को हराया….. यह छत्रपति शिवाजी महाराज, महात्मा ज्योतिबा फुले और बाबासाहेब डॉ. अंबेडकर जैसे हमारे प्रेरक दिग्गजों के लिए एक सच्ची श्रद्धांजलि है…. जिन्होंने सामाजिक न्याय, समानता और स्वतंत्रता के लिए लड़ाई लड़ी….

वहीं लोकसभा चुनाव की घोषणा के बाद विशाल पाटिल सांगली सीट से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ना चाहते थे…. लेकिन सांगली सीट शिवसेना (यूबीटी) के खाते में चली गई थी…. इसके बाद विशाल पाटिल ने निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर पर्चा भरा और जीत हासिल की…. अब उन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष से मुलाकात कर अपना समर्थन दे दिया….. बता दें कि महाराष्ट्र की सांगली लोकसभा सीट से निर्दलीय चुनाव लड़ने वाले विशाल पाटिल को पांच लाख इकहत्तर हजार छः सौ छासठ वोट मिले… और इन्होंने बीजेपी के संजय पाटिल को एक लाख तिरपन हजार वोटों से हरा दिया…. बीजेपी के उम्मीदवार संजय पाटिल इस सीट पर दूसरे नंबर पर रहे…. औऱ उन्हें कुल चार लाख इकहत्तर हजार छः सौ तेरह वोट मिले…. वहीं, इस सीट पर उद्धव ठाकरे गुट की शिवसेना तीसरे नंबर पर रही….. शिवसेना (यूबीटी) उम्मीदवार चंद्रहार सुभाष पाटिल को कुल साठ हजार आठ सौ साठ वोट प्राप्त हुए….

बता दें कि लोकसभा चुनाव दो हजार चौबीस में महाराष्ट्र में अप्रत्याशित नतीजे आए…. और कांग्रेस पार्टी सबसे बड़े गेनर के रूप में उभरी है…. वहीं महाराष्ट्र में कांग्रेस ने सत्रह सीटों पर चुनाव लड़ा था…. उसमें से तेरह सीटों पर कांग्रेस पार्टी जीती है…. इसके साथ-साथ सांगली सीट पर भी कांग्रेस के बागी उम्मीदवार ने जीत दर्ज की है….. ये सीट गठबंधन में शिवसेना (उद्धव) को मिली थी…. कहा जा सकता है कि राज्य में कांग्रेस सबसे बड़ी परफॉर्मर के तौर पर उभरी है…. उसके बाद बीजेपी और उद्धव गुट ने नौ-नौ सीटें हासिल की हैं…. वहीं तीसरे नंबर पर शरद पवार की पार्टी ने आठ सीटों पर जीत दर्ज की है…. शिंदे गुट ने सात सीटों पर कब्जा किया है…. एक सीट पर अजित पवार गुट के उम्मीदवार ने जीत हासिल की है….

महाराष्ट्र में आम चुनाव के दौरान सांगली सीट खूब चर्चा में रही…. इस सीट पर महाविकास अघाड़ी में सहयोगी दोनों दल शिवसेना (उद्धव ठाकरे) और कांग्रेस दोनों दावेदारी कर रहे थे…. वहीं सीट शेयरिंग में ये सीट उद्धव गुट को मिली तो कांग्रेस से बागी होकर विशाल प्रकाशबापू पाटिल ने निर्दलीय ताल ठोक दी….. प्रचार के दौरान जब विशाल पर एक्शन के लिए दबाव बनाया गया…. तो कांग्रेस ने कार्रवाई से साफ इनकार कर दिया था…. और चार जून को जब नतीजे आए तो विशाल ने बंपर जीत हासिल की….. सांगली में कांग्रेस की मदद से ही विशाल चुनाव जीते हैं…. जबकि यहां शिवसेना (उद्धव गुट) उम्मीदवार तीसरे नंबर पर आया है….

बताते चलें कि इससे पहले दो हजार चौदह और दो हजार उन्नीस के चुनाव में कांग्रेस महाराष्ट्र में पूरी तरह लड़खड़ा गई थी…. और दो हजार चौदह के चुनाव में कांग्रेस ने सिर्फ दो सीटें जीती थीं…. वहीं दो हजार उन्नीस के चुनाव में कांग्रेस मात्र एक सीट हासिल कर पाई थी…. लेकिन इस बार फिर दो हजार चौबीस के चुनाव में कांग्रेस तेरह सीटें जीतकर राज्य में नंबर वन पार्टी बन गई है…. कांग्रेस के लिए एक खुशखबरी यह भी है कि जिन सीटों पर अब तक वो लचर प्रदर्शन कर रही थी….. वहां अबकी बार बीजेपी को हराया है…. वहीं ज्यादातर सीटों पर बीजेपी बनाम कांग्रेस के बीच ही मुकाबला देखा गया….

बता दें कि विदर्भ की सभी सीटें खासकर आदिवासी बेल्ट में गढ़चिरौली, चिमूर, चंद्रपुर, भंडारा गोंदिया, अमरावती में कांग्रेस ने जीत हासिल की है…. रामटेक जैसी सीट भी कांग्रेस ने कई सालों बाद जीती है…. वर्धा जैसी सीट पर कांग्रेस की मदद से एनसीपी (शरद पवार) का उम्मीदवार चुनाव जीत पाया है…. मराठवाड़ा में भी कांग्रेस ने जबरदस्त प्रदर्शन किया है… और अपने पुराने गढ़ पर फिर से कब्जा किया है…. नांदेड में चुनाव से ठीक पहले दिग्गज नेता अशोक चव्हाण ने पाला बदला… और बीजेपी में चले गए थे…. हालांकि, नांदेड़ सीट पर भी कांग्रेस ने जीत दर्ज की है… करीब पंद्रह साल बाद लातूर सीट पर भी कांग्रेस ने जीत हासिल की है…. जालना जैसी चर्चित सीट पर भी कांग्रेस उम्मीदवार कल्याण वैजिनाथराव काले ने जीत दर्ज की है…. इस सीट पर केंद्रीय मंत्री रावसाहेब दानवे पाटिल का कब्जा था… और वो कभी यहां से चुनाव नहीं हारे थे… वहीं दूसरी खुशखबरी ये है कि कांग्रेस ने अपनी परंपरागत सीट नंदुरबार में भी जबरदस्त जीत दर्ज की है….. पिछले चुनावों में यहां कांग्रेस के हारने पर सभी ने आश्चर्य जताया था…. नंदुरबार में बीजेपी दो हजार चौदह और दो हजार उन्नीस में बड़े अंतर से चुनाव जीती थी….

आपको बता दें कि कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी भी नांदेड, लातूर… और नंदुरबार सीटों पर प्रचार करने पहुंची थीं…. राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा और भारत जोड़ो न्याय यात्रा का भी महाराष्ट्र में असर देखने को मिला है…. ये दोनों यात्राएं जहां-जहां से गुजरी हैं….. वहां कांग्रेस के परफॉर्मेंस में भी असर दिखा है…. कांग्रेस का लगभग पंचानबे फीसदी स्ट्राइक रेट रहा है…. जैसे मराठवाड़ा में विदर्भ की नांदेड़, लातूर, अमरावती या फिर जालना की सीट हो… जहां से भारत जोड़ो यात्रा गुजरी थी, वहां पर कांग्रेस को जीत मिली है…. इसके अलावा, भारत जोड़ो न्याय यात्रा में राहुल गांधी जिन इलाकों से गुजरे थे…. उसमें नंदुरबार सीट से जुड़ा इलाका था…. यहां भी कांग्रेस ने जीत दर्ज की है…. धुले में भी कांग्रेस जीती है…. वहीं आदिवासी बहुल्य डिंडोरी सीट पर भी एनसीपी (शरद पवार) के उम्मीदवार ने कांग्रेस की मदद से चुनाव जीता है…. नासिक की सीट पर भी कांग्रेस और शरद पवार गुट की मदद से शिवसेना (यूबीटी) के उम्मीदवार ने जीत हासिल की है… वहीं भिवंडी की सीट भी कांग्रेस की मदद से एनसीपी (शरद पवार) उम्मीदवार ने जीत दर्ज की है…. यहां से भी भारत जोड़ो न्याय यात्रा निकली थी….

बता दें कि मुंबई में भी लगातार दो चुनाव हारने के बाद कांग्रेस ने जीत हासिल की है…. यहां शिवसेना का वोट कांग्रेस को ट्रांस्फर हुआ है…. फिलहाल, माना जा रहा है कि कांग्रेस की परफॉर्मेंस में जबरदस्त सुधार होने से पार्टी विधानसभा चुनाव में भी दमखम से उतरेगी… और अपने गठबंधन में ज्यादा सीटें दिए जाने का दबाव बनाएगी…. वहीं पूरे देश में कांग्रेस की परफॉर्मेंस देखी जाए तो सबसे ज्यादा महाराष्ट्र में सुधार हुआ है…. सीटों के साथ ही स्ट्राइक रेट में भी सबसे ज्यादा उछाल देखने को मिला है…. वहीं कांग्रेस के इस मेहनत का फायदा विधानसभा चुनाव में भी देखने को मिलेगा…

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