“खाना या सड़क?” बयान पर मचा सियासी घमासान, विपक्ष ने कर्नाटक सरकार को घेरा

रायरेड्डी ने एक जनसभा में कहा कि सरकार के पास सीमित संसाधन हैं, इसलिए जनता को "खाना या सड़क" में से किसी एक को चुनना होगा।

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क: कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया के आर्थिक सलाहकार और विधायक रायरेड्डी के एक बयान ने राज्य की राजनीति में हलचल मचा दी है।

रायरेड्डी ने एक जनसभा में कहा कि सरकार के पास सीमित संसाधन हैं, इसलिए जनता को “खाना या सड़क” में से किसी एक को चुनना होगा। यह बयान येलबर्गा में एक सभा को संबोधित करते हुए दिया गया, जो अब सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। इसके बाद विपक्ष ने राज्य सरकार को आड़े हाथों लिया है और इसे मुफ्त योजनाओं की नीति का दुष्परिणाम करार दिया है।

विपक्ष का आरोप: सरकार फंड की कमी से जूझ रही है
विपक्षी दलों ने इस बयान को सरकार की आर्थिक कंगाली का प्रमाण बताया है। नेताओं ने कहा कि मुफ्त योजनाओं की भारी लागत उठाने के बाद अब सरकार विकास कार्यों को लेकर जनता पर जिम्मेदारी डाल रही है। विपक्ष का तंज: “खजाना खाली हो चुका है और अब सरकार जनता से पूछ रही है, खाना चाहिए या सड़क? इससे साफ है कि राज्य फंड की कमी से जूझ रहा है।”

सरकार की ओर से चुप्पी
अब तक इस बयान पर मुख्यमंत्री कार्यालय या कांग्रेस पार्टी की ओर से कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है, इस बयान से सरकार की छवि को नुकसान हो सकता है, खासकर तब जब गारंटी योजनाओं को लेकर विपक्ष लगातार सवाल उठा रहा है। बसवराज रायरेड्डी को कन्नड़ में यह कहते हुए सुना गया कि “मान लीजिए कि मुझे चावल या कुछ और नहीं चाहिए, अगर आप कहते हैं, “केवल गांव की सड़कें बनाएं”, तो हम वह भी करेंगे. मैं सिद्धारमैया को सुझाव दूंगा कि वे इसे बंद कर दें क्योंकि, लोग हमसे ऐसा करने के लिए कह रहे हैं.

बसवराज रायरेड्डी ने कहा , “अगर आप पक्की सड़क या स्कूल चाहते हैं, तो समझ लें कि सब कुछ एक बार में नहीं हो सकता है. आपको यह स्पष्ट करना होगा, आप ये अन्य लाभ नहीं चाहते, यह सब बंद कर दीजिए. अगर आप हमसे सड़क बनाने के लिए कहेंगे, तो हम सड़क बनाएंगे. अगर आप कहेंगे, “मंदिर बनाओ”, तो हम सिर्फ मंदिर बनाएंगे. ऐसा इसलिए है क्योंकि हमें उपलब्ध धन से सब कुछ प्रबंधित करना है. बसवराज रायरेड्डी के इस बयान को लेकर काफी सियासत भी होनी तय है. ऐसा इसलिए क्योंकि पूरे प्रदेश में सीएम बदलने की अटकलें लगाई जा रही हैं. ऐसे में कांग्रेस के नेता का इस तरह का बयान पार्टी और सीएम दोनों के लिए मुसीबत खड़ी कर सकता हे.

भारतीय से निष्कासित बागी विधायक बसंगौड़ा पाटिल यतनाल ने कहा कि रेड्डी की “लापरवाह” टिप्पणी कांग्रेस की प्राथमिकताओं को दर्शाती है. राज्य सरकार कर्नाटक के लोगों को गुमराह कर रही है. उन्होंने कहा, “मुफ्तखोरी की राजनीति न केवल लोगों को बुनियादी ढांचे से वंचित करेगी, बल्कि आवश्यक सेवाओं की कीमतें भी बढ़ेगी. मतदाताओं को मुफ्तखोरी की राजनीति को खारिज करना चाहिए और विकास, शिक्षा, रोजगार, कानून और व्यवस्था तथा लोगों के कल्याण के लिए वोट देना चाहिए.”

Related Articles

Back to top button