वीआरएस पीरियड पर हैं शिंदे गुट के बागी नेता

4पीएम की परिचर्चा में प्रबुद्घजनों ने किया मंथन

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
लखनऊ। एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने कहा कि महाराष्टï्र में मध्यावधि चुनाव होने की संभावना है क्योंकि शिवसेना के बागी नेता एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली राज्य सरकार अगले छह महीने में गिर सकती है। ऐसे में सवाल उठता हैं कि पवार ने आखिर क्यों कहा कि छह महीने में गिर जायेगी शिंदे सरकार? इस मुद्ïदे पर वरिष्ठï पत्रकार अशोक वानखेड़े, तुलसीदास भोइटे, समीरात्मज मिश्रा, डॉ. राकेश पाठक और अभिषेक कुमार ने एक लंबी परिचर्र्चा की।
तुलसीदास भोइटे ने कहा जिस दल के पास 106 विधायक है वो शिंदे यानी 39 विधायकों वाले दल को समर्थन कर रहा मुख्यमंत्री पद की जिम्मेदारी दी। इससे साफ है कि दाल में कुछ काला है। महाराष्टï्र में जो खेला हुआ वो पहले से तय था। स्क्रिप्ट पहले से ही लिखी गई। यहां मध्याविधि चुनाव होगा ये तो समय ही बताएगा। डॉ. राकेश पाठक ने कहा कि महाराष्टï्र के बारे में आकलन करना अब बड़ा दुरूह होता जा रहा है क्योंकि उसमें इतनी गुत्थियां हैं कि उसे सुलझाना अब आसान नहीं है। शरद पवार अब तक अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने में सफल रहे। अब उनका ये बयान यूं ही नहीं आया कुछ तो करिश्मा होगा। इसका संदेश समझना बहुत जरूरी है।
समीरात्मज मिश्रा ने कहा महाराष्टï्र में जो विधायक बगावत करके गए हैं, अगर चुनाव में उतरे तो उन्हें कहीं न कहीं इसका नुकसान उठाना पड़ेगा क्योंकि आप जब फील्ड में जाएंगे तो कई मुश्किलों का सामना करना पड़ेगा। यह भय तो कहीं नहीं शरद पवार विधायकों को बताना चाह रहे हैं कि अभी भी मौका है, लौट आओ। तीर जो छोड़ा है ये बड़ा संदेश है कि चुनाव की तैयारी शुरू कर दो क्योंकि सरकार पता नहीं कितने दिन चले।
अशोक वानखेड़े ने कहा, शरद पवार विपक्ष में है तो वे ये तो कहेंगे नहीं कि सरकार अपना समय पूरा कर ले। यही कहेंगे सरकार गिर जाएगी या गिराने की कोशिश करेंगे। नैतिकता के हमाम में कोई पाक साफ नहीं है, सब नंगे हैं। ये सत्ता का खेल है, इसे समझना आसान नहीं। ये जो शिंदे के साथ गए, राजनीतिक वीआरएस पर गए है। वीआरएस परिणाम भी देगा। वीआरएस पीरियड पर है शिंदे गुट के बागी नेता, ये माजरा है।

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