घर के कामकाज को महिलाएं न समझें व्यायाम
अन्य गतिविधियां भी जरूरी
4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
रोजाना घरेलू कामकाज करते हुए पसीने से तर-ब-तर हो जाती हैं और थकान भी अधिक होती है? क्या आप भी अन्य महिलाओं की तरह ही फिट रहने के लिए थका देने वाले घरेलू कामकाज को पर्याप्त व्यायाम का विकल्प मानती हैं? इसमें कोई संदेह नहीं कि महिलाएं पुरुषों के मुकाबले ज्यादा कामकाज करती हैं। लेकिन अगर वे एक-दो काम ज्यादा करें या तेजी से करें तो इससे उनका रोजाना का व्यायाम स्तर पूरा नहीं होता। इसलिए पहले खुद के लिए समय निकालो और फिर बाकी कार्य करो तो तुम ज्यादा एनर्जी लेवल के साथ काम पूरा कर पाओगी। घर के काम पूरी तरह से व्यायाम का विकल्प नहीं हैं। आपको रोजाना कुछ समय किसी अन्य गतिविधि में भी शामिल होना चाहिए, जिससे आपको दोनों तरह के व्यायाम का फायदा मिल सके और आप स्वस्थ रहें।
कम कैलोरी बर्न होना
महिलाएं जब घर के काम ज्यादा करती हैं तो उनको लगता है कि वे तो ज्यादा कैलोरी बर्न कर रही हैं, जबकि ऐसा नहीं होता। नेहा रोजाना सुबह घर की साफ-सफाई में दो घंटे लगाती है। बावजूद इसके वह मनचाहा वजन कम नहीं कर पा रही। ऐसा नहीं है कि घर के कामों से शारीरिक गतिविधियां नहीं होती और शरीर की चर्बी कम नहीं होती। घर के कामों से भी कैलोरी बर्न होती है, लेकिन इतनी ज्यादा नहीं, जितनी आप साधारण वर्कआउट करके कम कर सकती हैं। उदाहरण के लिए, आधे घंटे तक वैक्यूम करने से 130 कैलोरी कम होती है, जबकि आधा घंटे तक साइकिल चलाने से आप 400 कैलोरी तक कम कर सकती हैं।
अंतर भी जान लें
घरेलू काम और व्यायाम, दोनों में कार्य की जरूरत होती है, लेकिन इन दोनों का प्रकार भिन्न होता है। व्यायाम शारीरिक क्षमता को बढ़ावा देने के लिए डिजाइन किया गया है, जबकि घरेलू काम का मुख्य उद्देश्य घर की सफाई और व्यवस्था बनाए रखना है। व्यायाम घरेलू काम की तुलना में अधिक कैलोरी जलाता है। व्यायाम के दौरान हृदय दर के साथ-साथ शरीर के विभिन्न हिस्सों की मांसपेशियों को आवश्यक रूप से काम करना पड़ता है, जिससे अधिक कैलोरी जलती है। घरेलू काम करते समय आप आराम की स्थिति में रह सकती हैं, जबकि व्यायाम करते समय आपको सुस्ती को त्यागना पड़ता है।
एक्सरसाइज का विकल्प नहीं
झाड़ू-पोंछा, बर्तन धोना और बागवानी जैसे काम केवल शारीरिक सक्रियता का हिस्सा हो सकते हैं, लेकिन यह पूरी तरह उसका स्थान नहीं ले सकते। व्यायाम का महत्व इसलिए भी अधिक है, क्योंकि नियमित व्यायाम से दिल के स्वास्थ्य में सुधार होता है, शारीरिक क्षमता बढ़ती है और मानसिक स्वास्थ्य सुधरता है। वॉकिंग, गार्डनिंग या घर के कामों को व्यायाम के साथ मिलाकर किया जा सकता है, जिससे शारीरिक सक्रियता में वृद्धि हो। इसलिए घरेलू काम को व्यायाम का अच्छा उपाय मानने के बजाय नियमित व्यायाम करना उचित है। घरेलू काम जरूरी हैं, मगर वे व्यायाम का विकल्प नहीं हो सकते। इसलिए महिलाएं नियमित व्यायाम को जीवन का महत्वपूर्ण हिस्सा बनाने का प्रयास करें, ताकि वे स्वस्थ और सुखमय जीवन जी सकें।
कसरत का रूप दें
घर के कामकाज को व्यायाम का विकल्प तभी मानें, जब उन कार्यों को करते समय कसरत का एक रूप दिया जाए। उदाहरण के लिए, जब महिला घर में पोछा लगाती है तो एक विशेष पोजीशन में बैठने से योग की भाषा में उदर आकर्षण आसन, जिसमें पैर के पंजे, एड़ी और घुटनों की पोजीशन इस प्रकार से होती है कि एक घुटना और दूसरे पैर का तलवा और पंजा आगे-पीछे रहते हैं। इस आसन से कंधे और हाथों की कसरत होती है तथा लीवर और पेट स्वस्थ होते हैं। वजन भी कंट्रोल होता है। सब्जी काटते समय पैरों को फैलाकर बैठने और उनके बीच कुछ गैप रखने से जांघों की मांसपेशियां मजबूत होती हैं। यदि महिला कपड़ों को हाथ से निचोड़ती है तो यह क्रिया, वेट ट्रेनिंग का काम करती है और हाथों की मसल्स को टोन अप करती है। आटा गूंथते समय भी हाथों के जोड़ों की एक्सरसाइज होती है, लेकिन अगर आटा जमीन पर बैठकर मला जाए तो घुटने की मांसपेशियां भी मजबूत होती हैं।