AAP की गुजरात में धमक, हर तरफ चर्चा में ब्रिजराज सोलंकी, कौन हैं ये नया खिलाड़ी?

गुजरात की सियासत में आम आदमी पार्टी ने बड़ा धमाका किया है... अचानक हर तरफ जिस नाम की चर्चा है, वो हैं ब्रिजराज सोलंकी...

4पीएम न्यूज नेटवर्कः गुजरात की राजनीति में आम आदमी पार्टी तेजी से अपनी जड़ें मजबूत कर रही है.. दिल्ली विधानसभा चुनाव में सत्ता गंवाने के बाद AAP ने गुजरात को अपना मुख्य फोकस बना लिया है.. यहां पार्टी के बड़े नेता जैसे इसुदान गढ़वी, गोपाल इटालिया और चैतर वसावा पहले से ही सक्रिय हैं.. लेकिन अब एक नया चेहरा ब्रिजराज सोलंकी सामने आया है.. भावनगर जिले के रहने वाले ये युवा नेता AAP के गुजरात यूथ विंग के अध्यक्ष हैं.. और हाल के दिनों में बोटाद जिले के कपास किसानों के आंदोलन में उनकी भूमिका ने उन्हें रातोंरात स्टार बना दिया.. किसानों को सही कीमत न मिलने के खिलाफ चले आंदोलन में पुलिस से उनकी नोकझोंक का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया.. महज 10 दिनों में इस वीडियो को 5 करोड़ से ज्यादा लोग देख चुके हैं.. ये वीडियो न सिर्फ AAP की युवा ऊर्जा को दिखाता है.. बल्कि गुजरात में किसानों की व्यथा को भी सामने लाता है..

ब्रिजराज सोलंकी का नाम अब गुजरात की राजनीति में चर्चा का केंद्र बन गया है.. वे कोली समाज से ताल्लुक रखते हैं.. जो गुजरात का एक प्रमुख समुदाय है.. उनके पिता राजू सोलंकी भावनगर में सामाजिक रूप से सम्मानित व्यक्ति हैं.. ब्रिजराज खुद एक एक्टर और सोशल एक्टिविस्ट हैं.. वे ‘वीर मंडहाटा युवा सेना’ से भी जुड़े हुए हैं.. AAP में शामिल होने से पहले वे विभिन्न सामाजिक मुद्दों पर सक्रिय थे.. लेकिन पार्टी की युवा इकाई का नेतृत्व संभालने के बाद उनकी राजनीतिक यात्रा ने रफ्तार पकड़ ली.. 2023 से वे गुजरात AAP यूथ विंग के अध्यक्ष हैं.. और पार्टी के युवा जोड़ो अधिकार यात्रा में सक्रिय भूमिका निभाते रहे हैं.. सोमनाथ, जामनगर, द्वारका जैसे जिलों में उन्होंने युवाओं को पार्टी से जोड़ने का काम किया.. दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से उनकी मुलाकातें भी चर्चा में रहीं.. फरवरी 2024 में दिल्ली सीएम हाउस में केजरीवाल के साथ उनकी बैठक चुनावी रणनीतियों पर केंद्रित थी..

ब्रिजराज का उभरना गुजरात AAP के लिए एक बड़ा प्लस पॉइंट है.. पार्टी ने गुजरात में 2022 के विधानसभा चुनावों में 5 सीटें जीतीं.. लेकिन अब 2027 के चुनावों की तैयारी में युवाओं को आगे लाना रणनीति का हिस्सा लगता है.. ब्रिजराज की छवि एक आक्रामक, लेकिन किसान-हितैषी नेता की है.. वे रील लाइफ से रियल लाइफ पॉलिटिक्स में उतरे हैं.. जहां उनकी बोल्ड स्टाइल फैंस को पसंद आ रही है.. लेकिन उनका असली टेस्टफील्ड बोटाद जिला बना, जहां कपास किसानों का आंदोलन चल रहा है..

गुजरात का बोटाद जिला कपास उत्पादन के लिए मशहूर है.. यहां के किसान साल भर मेहनत करते हैं.. लेकिन फसल बेचते समय उन्हें ठगा जाता है.. समस्या है ‘करदा प्रथा’ की। ये एक पुरानी कुप्रथा है.. जिसमें मंडी के व्यापारी और ब्रोकर किसानों से फसल खरीदते समय अनुचित कटौती करते हैं.. कपास की कीमत 7-8 हजार रुपये प्रति क्विंटल होने पर भी किसानों को 4-5 हजार ही मिलते हैं.. बाकी पैसे ‘कटौती’ के नाम पर हड़प लिए जाते हैं.. ये कटौती पानी, मजदूरी, ट्रांसपोर्ट जैसे नामों पर की जाती है.. लेकिन असल में ये भ्रष्टाचार है.. किसान कहते हैं कि BJP सरकार के इशारे पर ये प्रथा चल रही है.. क्योंकि व्यापारी पार्टी से जुड़े हैं..

आंदोलन की शुरुआत 10 अक्टूबर 2025 को हुई.. AAP के किसान सेल अध्यक्ष राजूभाई करपड़ा ने बोटाद मार्केट यार्ड में धरना दिया.. हजारों किसान उनके साथ थे.. और उन्होंने मांग की कि करदा प्रथा बंद हो.. और किसानों को MSP मिले.. लेकिन मंडी समिति ने इजाजत नहीं दी.. रात 3 बजे पुलिस ने किसानों को घेर लिया.. कई किसानों को हिरासत में ले लिया गया.. AAP ने इसे ‘काला दिन’ घोषित किया.. गुजरात प्रभारी गोपाल राय ने कहा कि BJP सरकार ने पूरे गांव को दुश्मन इलाका बना दिया.. लेकिन किसानों की आवाज दबाई नहीं जा सकती..

आपको बता दें कि 13 अक्टूबर को हददड़ गांव में किसान महापंचायत बुलाई गई.. ये गांव बोटाद से महज 6 किलोमीटर दूर है.. AAP ने कहा कि ये शांतिपूर्ण सभा होगी.. लेकिन पुलिस ने परमिशन नहीं दी.. फिर भी, सैकड़ों किसान इकट्ठा हो गए.. राजूभाई करपड़ा भाषण दे रहे थे तभी पुलिस पहुंची.. हालात बिगड़ गए.. किसानों ने कथित तौर पर पथराव किया.. पुलिस ने लाठीचार्ज और आंसू गैस का इस्तेमाल किया.. तीन पुलिसकर्मी घायल हुए.. बॉटाड DySP महर्षि रावल को पैर में चोट आई.. और LCB PI A.G. सोलंकी को सिर में 7 टांके आए.. 20 AAP कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया गया.. AAP ने इसे BJP का दमन बताया.. गोपाल इटालिया ने कहा कि किसान भ्रष्टाचार के खिलाफ बोलें तो लाठियां.. लेकिन BJP के सहयोगी लूटें तो चुप्पी…

वहीं इस महापंचायत में ब्रिजराज सोलंकी की एंट्री ने आग में घी डाल दिया.. वे भावनगर से बोटाद जा रहे थे.. बगोदरा हाईवे पर पुलिस ने उन्हें रोका.. AAP गुजरात अध्यक्ष इसुदान गढ़वी और जनरल सेक्रेटरी सागर देसाई को भी हिरासत में ले लिया गया.. ब्रिजराज ने पुलिस से बहस की.. वीडियो में वे चिल्लाते दिखे कि तुम्हें BJP के इशारे पर किसानों को दबाना है.. हम किसानों के हक के लिए लड़ेंगे.. पुलिस ने उन्हें घर के पास नजरबंद कर दिया.. लेकिन वे चुपके से निकल आए.. हददड़ पहुंचकर उन्होंने किसानों को संबोधित किया..

ब्रिजराज का कोली समाज से जुड़ाव उन्हें राजनीतिक ताकत देता है.. ये समाज गुजरात में वोट बैंक के रूप में महत्वपूर्ण है.. हाल ही में वे BJP मंत्री कुंवरजी बावलिया से विवाद में आए.. बावलिया कांग्रेस से BJP में आए और कोली समाज के बड़े नेता हैं.. सितंबर 2025 में BJP ने मंत्रिमंडल फेरबदल किया.. तो बावलिया को कैबिनेट मंत्री बरकरार रखा गया.. लेकिन ब्रिजराज ने उन पर कोली समाज के हितों की अनदेखी का आरोप लगाया.. चर्चा है कि ब्रिजराज जसदण विधानसभा सीट से बावलिया के खिलाफ उतर सकते हैं.. जसदण कोली बहुल क्षेत्र है.. जहां AAP मजबूत होना चाहती है..

बोटाद आंदोलन AAP के लिए टर्निंग पॉइंट है.. पार्टी ने 31 अक्टूबर को पूरे गुजरात में 400 APMC में किसान महापंचायत का ऐलान किया.. अरविंद केजरीवाल खुद किसानों को संबोधित करेंगे.. गोपाल राय ने कहा कि ये खेड़ा आंदोलन जैसा होगा.. BJP गलती कर रही है जो लाठियों से दबाने की कोशिश कर रही.. AAP गुजरात में पहले से ही कई मुद्दों पर सक्रिय है.. जुलाई 2025 में दूध किसानों पर लाठीचार्ज में एक मौत हुई.. तो पार्टी ने विरोध रैली निकाली.. मोडासा और डेडियापाड़ा में महापंचायतें हुईं.. युवा विंग ने अहमदाबाद यूनिवर्सिटी में फीस वृद्धि के खिलाफ प्रदर्शन किया.. जहां ब्रिजराज हिरासत में लिए गए.. पार्टी का फोकस युवा, किसान और आदिवासी वोट पर है..

 

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