सदस्यता अभियान शुरू करने की तैयारी में सपा
लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्टï्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव के जन्मदिन के एक दिन पहले लखनऊ के तीन हजार कार्यकर्ताओं की प्रारंभिक और सक्रिय सदस्यता समाप्त हो गई। पांच साल के लिए बने इन प्रारंभिक और सक्रिय सदस्यों की सदस्यता की मियाद 30 जून को पूरी हो गई थी। ऐसे में ये सभी पार्टी से बाहर हो गए हैं। समाजवादी पार्टी 16 जून से सदस्यता अभियान की शुरुआत करने की तैयारी में थी। मगर आजमगढ़ और रामपुर उपचुनाव के चलते यह अभियान शुरू नहीं हो सका। इस कारण लखनऊ नगर और जिला कमेटी के तीन हजार सदस्यों की सदस्यता समाप्त हो गई है। माना जा रहा है कि अब नगर व जिला कमेटी को भंग करके नए सिरे से सदस्यता अभियान की शुरुआत होगी। सपा ने जून 2017 में सदस्यता अभियान चलाया था। पार्टी के संविधान के अनुसार पार्टी में पहले प्रारंभिक सदस्यता लेना अनिवार्य होता है। इसके बाद यह प्रारंभिक सदस्य 20 रुपये की पर्ची काटकर 50 नए सदस्यों को अपने साथ जोड़ता है। तब जाकर प्रारंभिक सदस्य को सक्रिय सदस्य बनाया जाता है। तय समय से पहले नगर व जिला कार्यकारिणी को विधानसभा और वार्डवार सदस्यता अभियान चलाकर नए सिरे से सदस्यों को जोड़ना था। इसके लिए सपा के राष्टï्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव की ओर से अनुमति मिलने और सदस्यता पर्ची का इंतजार है। यह प्रारंभिक और सक्रिय सदस्य प्रदेश के बाद राष्टï्रीय कार्यकारिणी के अधिवेशन में हिस्सा भी लेते हैं। इस पूरे मामले में जिलाध्यक्ष जय सिंह जयंत कहते हैं कि नए सिरे से सदस्यता अभियान चलाने के लिए पर्ची प्रदेश कार्यालय पर आ गई हैं। अब आलाकमान के दिशा-निर्देशों का इंतजार है।
गोंडा में नेताओं की बंधुआ मजदूर बन गई पुलिस : बृजभूषण
लखनऊ। कैसरगंज के भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने गोंडा पुलिस पर निशाना साधते हुए कहा कि प्रधान के बेटे की मौत के जिम्मेदार यहां के नेता और स्थानीय पुलिस है। पुलिस यहां के नेताओं की बंधुआ मजदूर बन गई है। सांसद ने चेतावनी दी है कि यदि 15 दिन में पीड़ित परिवार को न्याय नहीं मिला तो वह खुद न्याय दिलाने के लिए जरूरी कदम उठाएंगे। बता दें कि तांबेपुर गांव में प्रधानपुत्र भोलू सिंह की रविवार को हत्या कर दी गई थी। शुक्रवार को श्रद्धांजलि अर्पित करने पहुंचे कैसरगंज सांसद ने स्थानीय पुलिस पर आरोप लगाया, कहा कि यहां की पुलिस जनप्रतिनिधियों के इशारे पर काम कर रही है। गौरा व मनकापुर में कार्यकर्ताओं को प्रताड़ित करने का काम जनप्रतिनिधियों की शह पर किया जा रहा है। कहा कि घटना के कुछ दिन पूर्व मृतक भोलू ने अपनी हत्या की आशंका जताई थी लेकिन, पुलिस ने कोई ध्यान नहीं दिया। उन्होंने अपनी ही पार्टी के नेताओं पर कई आरोप लगाए। सांसद ने अफसरों की कारगुजारी पर सवाल उठाते हुए कहा कि कुर्सी पर बैठकर मजे ले रहे हैं, उनसे भी हिसाब लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि यह हत्या राजनीतिक प्रतिशोध में की गयी है। घटना की उच्च स्तरीय जांच कराई जाय। हत्यारोपितों की मोबाइल कि काल डिटेल निकाला जाय तो हकीकत सामने आ जाएगी। कहा कि देश में लोकतंत्र है, जिसमें पक्ष व विपक्ष दोनों होगा। प्रश्न यह है कि क्या विपक्ष को रहने का अधिकार नहीं है। कोटेदारों व विपक्षी प्रधानों को प्रताड़ित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि एक व्यक्ति को बचाने के लिये पीड़ित परिवार के परिजनों से कई बार तहरीर बदलवायी गयी है।
नई शिक्षा नीति लागू करने वाला पहला राज्य बनेगा उत्तराखंड : धामी
देहरादून। उत्तराखंड नई शिक्षा नीति को लागू करने वाला देश का पहला राज्य बनेगा। उन्होंने यह बात इंडियन पब्लिक स्कूल झाझरा में विद्यालयी शिक्षा विभाग के दो दिवसीय शैक्षिक चिंतन शिविर के शुभारंभ अवसर पर कही। इस दौरान सीएम ने ब्लॉक स्तरीय अधिकारियों को स्कूलों के निरीक्षण के लिए वाहन या फिर मासिक रूप से धनराशि उपलब्ध कराने की घोषणा की। मुख्यमंत्री ने सरकारी स्कूलों में घटती छात्र संख्या पर चिंता जताते हुए कहा कि छात्र संख्या बढ़ाने की चुनौती व गुणात्मक शिक्षा के उपायों पर इस शिविर में गहनता से मंथन किया जाए। उन्होंने कहा कि सरकारी स्कूलों में छात्र संख्या घटने के कारणों व इसको बढ़ाने के लिए गहनता से ध्यान देने की जरूरत है। राष्टï्रीय शिक्षा नीति-2020 का लक्ष्य विद्यालयी शिक्षा के सभी स्तरों पर गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करते हुए श्रेष्ठ मानव का निर्माण करना है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि नौ नवंबर 2025 को उत्तराखंड राज्य स्थापना की रजत जयंती मनाएगा। शिक्षा विभाग तब तक बेस्ट प्रैक्टिस के तहत क्या कर सकता है, इस पर आज से ही ध्यान देना होगा। शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने कहा कि शिक्षा के गुणात्मक सुधार के लिए राज्य में यह पहला शैक्षिक चिंतन शिविर आयोजित किया जा रहा है। इसके बाद प्राचार्यों, शिक्षकों एवं अभिभावकों को भी इस तरह के शैक्षिक चिंतन शिविर में बुलाया जाएगा। इस तरह के शैक्षिक चिंतन शिविरों के आयोजन से शिक्षा के क्षेत्र में आगे का रोडमैप तैयार होगा। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति के तहत 30 छात्रों पर एक टीचर का होना जरूरी है। उत्तराखंड में अभी 15 छात्रों पर एक टीचर है। नई राष्टï्रीय शिक्षा नीति को लागू करने वाला उत्तराखंड पहला राज्य बनने जा रहा है। नई शिक्षा नीति के तहत 10 जुलाई तक पांच हजार स्कूलों में बालवाटिका शुरू होगी। इसका शुभारंभ मुख्यमंत्री करेंगे। जिला व ब्लॉक स्तर पर सांसद, विधायक व अन्य जनप्रतिनिधि इसका शुभारंभ करेंगे। इसके अलावा राज्य में विद्या समीक्षा केन्द्र एक साल में बनकर तैयार हो जाएंगे। इसके लिए केंद्र सरकार की ओर से पांच करोड़ रुपये मंजूर किए गए हैं। वहीं 23 हजार शिक्षण संस्थानों को नशा मुक्त बनाया जाएगा।