एनडीए सरकार पर कामकाज संभालते ही चला ‘सुप्रीम’ चाबुक

  • नीट परीक्षा धांधली पर एनटीए से मांगा जवाब
  • काउंसलिंग रोकने से इंकार, 8 जुलाई को होगी सुनवाई
  • जस्टिस बोले- परीक्षा की पवित्रता प्रभावित हुई, हमें जवाब चाहिए
  • कांग्रेस समेत विपक्ष ने भी केंद्र सरकार को घेरा
  • छात्रों ने लगाया है धांधली का आरोप

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
नई दिल्ली। एनडीए सरकार को अभी काम करते एक दिन ही हुए है। सरकार के मंत्री अभी कामकाज संभालना शुरू भी नहीं कर पाए और मोदी सरकार पर सुप्रीम कोर्ट का चाबुक चल गया । शीर्ष अदालत ने नीट काउंसलिंग में धांधली पर सख्ती दिखाते हुए केंद्र से जवाब मांगा है। हालांकि नीट काउंसलिंग पर रोक लगाने से कोर्ट ने इनकार कर दिया है। उच्चतम न्यायालय ने एनटीए से तुरंत जवाब देन को कहा है। उधर इसको लेकर विपक्ष ने भी मोदी की एनडीए सरकार पर सवालिया निशान लगाया है।
मामले को लेकर कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी दल भी केंद्र सरकार को घेर रहे हैं। दरअसल यूजी 2024 की परीक्षा के रिजल्ट को लेकर जारी विवाद पर याचिकाकर्ता ने सुप्रीम कोर्ट में दलील दी कि पारदर्शिता नहीं बरती गई और गड़बड़ी हुई है। इस बीच सुप्रीम कोर्ट ने मामले में दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान परिणामों के आधार पर होने वाली काउंसलिंग पर रोक लगाने से इनकार कर दिया है। याचिकाकर्ता ने दलील दी कि पूरे मामले में पारदर्शिता नहीं बरती गई और हम इसको लेकर जवाब चाहते हैं। इस पर कोर्ट ने कहा कि हम नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) से नोटिस जारी कर जवाब मांगते हैं और मामले की अगली सुनवाई जवाब आने के बाद 8 जुलाई को करेंगे। सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका में मांग की गई है कि नीट रिजल्ट को रद्द घोषित कर दोबारा परीक्षा हो। साथ ही 4 जून को आए परिणामों के आधार पर होने वाली काउंसलिंग को रोका जाए। नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने 4 जून को नीट यूजी-2024 परीक्षा के परिणाम जारी किए थे और इसमें 67 छात्र टॉपर हैं। इसको लेकर छात्रों ने आरोप लगाया है कि रिजल्ट में व्यापक स्तर पर गड़बड़ी हुई है। छात्रों ने इसके अलावा कहा कि पहले नंबर के 7 छात्र तो हरियाणा के एक ही सेंटर से आते हैं।

एनटीए ने अनियमितता के आरोपों को नकारा

एनटीए ने अनियमितता के आरोप को नकराते हुए कहा है कि एनसीईआरटी (राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद) पाठ्य पुस्तकों में बदलाव और परीक्षा केंद्र में समय जाया होने के लिए दिए गए ग्रेस नंबर अधिक अंक आने का कारण है। हाल ही में एनटीए ने बताया कि शिक्षा मंत्रालय ने ग्रेस नंबर पाने वाले 1,500 से अधिक अभ्यर्थियों के परिणामों की समीक्षा के लिए चार सदस्यीय समिति गठित की है।

जस्टिस अमानुल्लाह और जस्टिस विक्रम नाथ सुन रहे मामला

नरेंद्र मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल की शुरुआत होती ही सुप्रीम कोर्ट ने एक अहम मुद्दे पर सरकार को सुना दिया। परीक्षा में धांधली मामले पर सुनवाई के दौरान शीर्ष अदालत ने आज साफ-साफ कहा कि परीक्षा की पवित्रता प्रभावित हुई है, इसलिए हमें जवाब चाहिए। जस्टिस अमानुल्लाह और जस्टिस विक्रम नाथ ने मामले की सुनवाई करते हुए एनटीए को इस मामले में नोटिस जारी किया है। जस्टिस अमानुल्लाह ने कहा कि परीक्षा की पवित्रता प्रभावित हुई है, इसलिए हमें जवाब चाहिए। जस्टिस नाथ ने कहा कि हम एनटीए को नोटिस जारी कर रहे हैं, इस बीच एनटीए की तरफ से जवाब दाखिल किया जाएगा। काउंसलिंग शुरू होने दीजिए। कोर्ट ने कहा कि हम काउंसलिंग नहीं रोक रहे हैं।

पहले भी आया था मामला पर दबाया गया : जयराम

कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने कहा कि इस साल पहले पेपर लीक होने का समाचार आया, जिसे दबा दिया गया। अब मेडिकल प्रवेश परीक्षा नीट के कई परीक्षार्थियों ने छात्रों के अंक बढ़ाए जाने के आरोप लगाए हैं।

युवाओं के भविष्य से खिलवाड़ कर रही सरकार : मल्लिकार्जुन खरगे

इस मामले में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने हाल ही में कहा था कि पेपर लीक, धांधली और भ्रष्टाचार नीट समेत कई परीक्षाओं का अभिन्न अंग बन गई है। इसकी सीधी जिम्मेदारी केंद्र सरकार की है। अभ्यर्थियों के लिए भर्ती परीक्षाओं में भाग लेना, फिर अनेकों अनियमितताओं से जूझना, पेपर लीक के चक्रव्यूह में फंसना, उनके भविष्य से खिलवाड़ है।

एकजुट विपक्ष केंद्र में सरकार की जवाबदेही तय करेगा : पायलट

  • बोले- मनमाने ढंग से शासन नहीं करने देंगे

जयपुर। कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने सोमवार को कहा कि एकजुट विपक्ष केंद्र में सरकार की जवाबदेही तय करेगा और उसे पिछले 10 वर्ष की तरह ”मनमाने ढंग सेÓÓ शासन नहीं करने देगा। उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को पूर्ण बहुमत नहीं मिला है इसीलिए वह उस रवैये के साथ काम नहीं कर पाएगी जो पिछले 10 वर्षो में रहा। राजस्थान के पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट ने टोंक में कहा, लोकसभा चुनाव में पूर्ण बहुमत नहीं मिला है.. किसी एक दल को सरकार बनाने का जनादेश नहीं मिला है। अब मिली जुली सरकार है। भविष्य में देखते हैं क्या होता है? लेकिन मुझे लग रहा है कि जिस तरह का रवैया और शासन पिछले 10 साल में रहा वो शायद अब नहीं हो पायेगा।

नए मंत्रियों ने संभाला पदभार

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सोमवार को मंत्रियों के बीच विभागों का बंटवारा कर दिया गया है। नई सरकार में चार हाई- प्रोफ़ाइल मंत्रालय – गृह, रक्षा, वित्त और विदेश का प्रभार क्रमश: अमित शाह, राजनाथ सिंह, निर्मला सीतारमण और एस जयशंकर को दिया गया हैं। विभागों का बंटवारा होते ही पीएम मोदी के मंत्रियों ने आज पदभार संभालने का काम शुरू कर दिया है। जानकारी के अनुसार राजनाथ सिंह सुबह 10:30 बजे साउथ ब्लॉक में रक्षा मंत्री का कार्यभार संभाला। बीजेपी अध्यक्ष जे पी नड्डा ने स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री का कार्यभार संभाला लिया है। शिवराज सिंह चौहान को कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय दिया गया है आज उन्होंने अपना कार्यभार संभाल लिया है। इसी तरह सहयोगी दलों के मंत्रियों ने कामकाज शुरू कर दिया। केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य एम. सिंधिया , केंद्रीय मंत्री एल. मुरुगन ने मंगलवार को सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय में राज्य मंत्री के रूप में कामकाज संभाला लिया है। केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने नए मंत्रिमंडल में खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्री का कार्यभार संभाला लिया है। जयंत चौधरी ने कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय के राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) के रूप में कार्यभार संभाला लिया है। मनोहर लाल खट्टर, केंद्रीय मंत्री सुरेश गोपी ने, गिरिराज सिंह ने कपड़ा मंत्री, अश्विनी वैष्णव ने सूचना एवं प्रसारण (आई एंड बी) मंत्री के रूप में कार्यभार संभाला लिया है।

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