बिजली निजीकरण पर बढ़ा टकराव, कर्मचारी संघ ने दी ये चेतावनी, CM योगी को लिखा पत्र

उत्तर प्रदेश में बिजली निजीकरण का मुद्दा लगातार गरमाया हुआ है। इसी बीच, विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को एक पत्र भेजकर निजीकरण के प्रस्ताव को तत्काल रद्द करने की मांग की है। समिति ने अपनी मांग के समर्थन में ओडिशा और चंडीगढ़ के ‘विफल मॉडल’ का हवाला दिया है।
समिति ने अपने पत्र में कहा है कि पूर्वांचल और दक्षिणांचल निगमों के निजीकरण के लिए चंडीगढ़ मॉडल को अपनाया गया है। उनका आरोप है कि चंडीगढ़ में 24 घंटे बिजली आपूर्ति का दावा किया गया था, लेकिन महज छह महीने में ही वहां हालात इतने खराब हो गए कि मुख्य सचिव को कमान संभालनी पड़ी। वहां भी बिजली कटौती के विरोध में लगातार प्रदर्शन हो रहे हैं। ऐसे में समिति ने सरकार से आग्रह किया है कि इस तरह का मॉडल उत्तर प्रदेश पर न थोपा जाए।
निजीकरण के विरोध में समिति का प्रदर्शन राज्य के सभी जिलों और परियोजना मुख्यालयों पर जारी है। कर्मचारी नेताओं का कहना है कि सरकार को इस जनविरोधी कदम को तुरंत वापस लेना चाहिए।



