बृजभूषण की दलील, गवाहों के बयानों में विरोधाभास
भारतीय कुश्ती महासंघ के पूर्व अध्यक्ष ने की खुद के बरी होने की मांग
4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
नई दिल्ली। भारतीय कुश्ती महासंघ के पूर्व अध्यक्ष और भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने महिला पहलवानों के कथित यौन उत्पीडऩ के मामले में खुद को बरी करने की मांग की है।
बृजभूषण की ओर से दिल्ली की कोर्ट में पेश हुए अधिवक्ता राजीव मोहन ने दलील दी है कि इस मामले में गवाहों के बयानों में परस्पर विरोधाभास है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि इस मामले को देखने के लिए बनायी गई निरीक्षण समिति को सात दिनों के भीतर प्राथमिकी दर्ज करने की सिफारिश करनी थी, लेकिन समिति ने ऐसा कुछ नहीं किया है। सिंह को आरोप मुक्त करने की मांग करते हुए उनके अधिवक्ता ने कहा है कि चूंकि निरीक्षण समिति ने कोई सिफारिश नहीं की है इसलिए प्रथम दृष्ट्या यह मामला बताता है कि बृजभूषण सिंह के खिलाफ कोई साक्ष्य नहीं मिले हैं।
वकील ने कहा- शिकायतकर्ताओं ने निजी कारणों से लगाए आरोप
खास बात यह है कि बृजभूषण सिंह मामले की सुनवाई के दौरान कोर्ट में मौजूद नहीं थे क्योंकि उनके वकील ने उन्हें छूट देने की अर्जी दायर की थी जिसे कोर्ट ने स्वीकार किया है। बता दें कि बृजभूषण सिंह के खिलाफ छह महिला पहलवानों ने यौन उत्पीडऩ के आरोप लगाए थे। इस संबंध में उनके अधिवक्ता ने कोर्ट में कहा कि सभी शिकायतकर्ताओं ने निजी कारणों से आरोप लगाए और उनके समर्थन में उनके परिवार के अलावा कोच या बाकी किसी ने कोई बयान नहीं दिया है।