बीजेपी के हिंदुत्व का झूठा नेरेटिव फेल, बैसाखी के सहारे आ गए मोदी

देश को मोदी की गारंटी देने वाले नरेंद्र मोदी को जनता ने पूरी तरह से नकार दिया है... और उत्तर प्रदेश सहित महाराष्ट्र में बीजेपी क्लीन बोल्ड हुई है... और लोकसभा चुनाव में महज दो सौ चालीस सीटों पर सिमट कर रह गई है... जिसके बाद मोदी की तानाशाही पर बहुत बड़ा प्रभाव पड़ा है... देखिए खास रिपोर्ट...

4पीएम न्यूज नेटवर्कः लोकसभा चुनाव दो हजार चौबीस का रिजल्ट सामने आ चुका है… तीसरी बार बैसाखी के सहारे नरेंद्र मोदी ने पीएम पद की शपथ ले ली है… शपथ लेने के साथ ही मोदी की तीसरी सरकार का शुरू हो गई… बता दें कि देश को मोदी की गारंटी देने वाले नरेंद्र मोदी को जनता ने पूरी तरह से नकार दिया है… और उत्तर प्रदेश सहित महाराष्ट्र में बीजेपी क्लीन बोल्ड हुई है… और लोकसभा चुनाव में महज दो सौ चालीस सीटों पर सिमट कर रह गई है… जिसके बाद मोदी की तानाशाही पर बहुत बड़ा प्रभाव पड़ा है… पिछले दस साल से ध्रुवीकरण की राजनीति करने वाले मोदी को देश की जनता ने नकार दिया है… बावजूद इसके मोदी ने बैसाखी के सहारे पीएम पद की सपथ ली है… वहीं यह बैसाखी वाली सरकार कितने दिन तक चलती है.. यह तो आने वाला वक्त तय करेगा…

फिलहाल महाराष्ट्र में दो पार्टियों को तोड़ने वाले मोदी को लोकसभा चुनाव दो हजार चौबीस में जनता ने तोड़ कर रख दिया है… बता दें कि महाराष्ट्र में अड़तालीस की अड़तालीस सीटों को जीतने का दावा करने वाले मोदी महज सात सीटों पर सिमट कर रह गए हैं… और मुख्यधारा से जुड़े बड़े नेता भी चुनाव हार गए है… जिससे मोदी को अपनी ताकत का पता चल गया है… इस बार संसद में एक मजबूत विपक्ष है… जिससे मोदी की मनमानी नहीं चलने वाली है… वहीं इस बार बीजेपी को पूर्ण बहुमत नहीं मिला है… जिसके चलते वो अब मनमानी नहीं कर पाएंगे… और सभी नेताओं की बात माननी पड़ेगी… मोदी के तीसरे कार्यकाल में सहयोगी दल मनमानी नहीं करने देंगे… और मोदी को सबकी बात माननी पड़ेगी…

आपको बता दें कि मोदी पहले चरण के मतदान के बाद से ही ध्रुवीकरण की राजनीति करने में जुट गए थे… और हिंदू-मुसलमान, मंगलसूत्र, भैंस समेत तमाम प्रकार की अनर्गल बातें करना शुरू कर दिए थे… जिसका परिणाम लोकसभा चुनाव में देखने को मिला… और मुसलमान. दलित और पिछड़ा वर्ग ने बीजेपी से दूरी बना ली… जिसके चलते बीजेपी महज दो सौ चालीस सीटों पर ही सिमट कर रह गई… जिसके बाद सरकार बनाने के लिए मोदी को बैसाखी सहारा लेना पड़ा… और अपने तीसरे कार्यकाल की शुरूआत की है… वहीं यूपी के बाद महाराष्ट्र में बीजेपी को तगड़ा झटका लगा है…

आपको बता दें कि उद्धव ठाकरे की शिवसेना को मुस्लिम समाज के रूप में नया वोटर मिल गया है…. जो उनकी राजनीतिक नैया को पार लगाने में उपयोगी साबित हुआ है…. लोकसभा चुनाव में मुस्लिम समाज ने उद्धव सेना को वोट दिया है…. इसलिए उनकी अधिक सीट निकल पाई… चुनाव नतीजे आने के बाद कहा जाने लगा है कि मुस्लिम मतदाता अब ठाकरे के साथ हो गए हैं…. ऐसे में उद्धव का बीजेपी के साथ वापस आना आसान नहीं होगा… लेकिन कांग्रेस के लिए यह शुभ संकेत नहीं है…. उधर, उत्तर भारतीय बीजेपी से बिदक गया है…. जो बीजेपी के लिए खतरे की घंटी है…. शिवसेना की पहचान कभी कट्टर हिंदुत्व वाली पार्टी के रूप में होती थी… और मुस्लिम समाज इस वजह से दूरी बनाए रखता था… लेकिन अब यह समीकरण बदला है… उद्धव की नई शिवसेना को मुस्लिम मतदाताओं का साथ मिला है…

बता दें कि शिवसेना के संस्थापक बाला साहेब ठाकरे ने जिस पार्टी की नींव रखी थी… वह मुसलमानों के लिए अछूत थी…. बाला साहेब के बयानों की वजह से महाराष्ट्र के मुसलमान उनकी पार्टी को अपना राजनीतिक दुश्मन समझते थे लेकिन… उद्धव ठाकरे के लिए मुसलमानों ने दिलों के दरवाजे खोल दिए…. लोकसभा चुनाव के नतीजे इस बात की तस्दीक करते हैं… कि उद्धव ठाकरे की शिवसेना को मुस्लिम समाज के रूप में नया वोटर मिल गया है… जो उनकी राजनीतिक नैया को पार लगाने में उपयोगी साबित हुआ…. दरअसल, लोकसभा चुनाव में मुस्लिम समाज ने उद्धव ठाकरे पर भरोसा जताया है…. मुस्लिम बाहुल्य विधानसभा क्षेत्र जैसे मानखुर्द, कुर्ला, गोवंडी, अणुशक्ति नगर, मुंबा- देवी, चांदीवली, घाटकोपर पश्चिम, भायखला, मलाड- मलवानी जैसे इलाकों से आने वाले मतदाताओं ने उद्धव ठाकरे… और महाविकास आघाड़ी के पक्ष में एकतरफा वोट किया है…. नतीजा ये निकला कि मुंबई में उद्धव के खाते में चार में से तीन सीटें आई है… वहीं, महाविकास आघाड़ी के खातें में चार सीटे आई है…. जहां आंकड़े इस बात की गवाही दे रहें हैं.

वहीं इस बार के लोकसभा चुनावों में बहुत ही खास बात नजर आ रही है… जहां उद्धव बालासाहेब ठाकरे वाली शिवसेना ने मुंबई दक्षिण सीट पर जीत दर्ज की है…. इस सीट से अरविंद सावंत ने शिंदे गुट की शिवसेना की यामिनी जाधव को हराया है… इस लोकसभा सीट में छः विधानसभा पड़ती है… जिनमें वर्ली में चौसठ हजार आठ सौ चौव्वालीस वोट पड़े है… वहीं शिवड़ी में छिहत्तर हजार तिरपन हजार और मालाबार हिल में उनतालीस हजार पांच सौ तिहत्तर वोट मिले हैं…. जबकि, मुम्बादेवी जो कि मुस्लिम बहुल विधानसभा है… जिसमें सतहत्तर हजार चार सौ उनहत्तर लोगों ने वोट किया है…. वहीं, कोलाबा के अड़तालीस हजार नौ सौ तेरह वोटर शामिल हैं…. जिसमें अरविंद सावंत ने करीब तीन लाख पंनचानबे हजार छः सौ पचपन वोट पाकर जीत दर्ज की…

वहीं, शिंदे गुट उम्मीदवार यामिनी जाधव को वर्ली से अट्ठावन हजार एक सौ उन्तीस,  शिवड़ी से उनसछ हजार एक सौ नब्बे वोट मिले…बता दें कि भायखला मुस्लिम बाहुल्य इलाका है वहां से चालीस हजार आठ सौ सत्रह और मालाबार हिल से सत्तासी हजार आठ सौ साठ वोट मिले…. जबकि, मुम्बादेवी जो कि मुस्लिम बहुल विधानसभा है उसमें से यामिनी जाधव को छत्तीस हजार छः सौ नब्बे वोट मिले…. इसके अलावा कोलाबा से अट्ठावन हजार छः सौ पैंतालीस वोट मिले… ऐसे में यामिनी दूसरे स्थान पर रहीं…. इसमें पोस्टल वोट काउंट नही हैं….

इस बार मुंबई साउथ सेंट्रल लोकसभा सीट से शिवसेना उद्धव ठाकरे गुट के अनिल देसाई ने यहां से जीत दर्ज की है…. और उन्हें कुल तीन लाख पंनचानबे हजार एक सौ अड़तीस वोट मिले हैं…. जहां उनका मुकाबला शिंदे गुट के राहुल शेवाले से था… जिन्हें तीन लाख इकतालीस हजार सात सौ चौव्वन वोट मिले हैं….. इस दौरान अनिल देसाई को अणुशक्ति नगर मुस्लिम बाहुल्य सीट से उन्नासी हजार सात सौ सरसठ वोट मिले…. जबकि, चेम्बूर से इकसठ हजार तीन सौ पचपन, धारावी के मुस्लिम बाहुल्य इलाके से छिहत्तर हजार छः सौ सतहत्तर, सायन से सत्तर हजार नौ सौ इकतीस, वडाला से उनचास हजार एक सौ चौदह और माहिम जो मुस्लिम बाहुल्य इलाका है वहां से पचपन हजार चार सौ अट्ठानबे वोट मिले थे…. जबकि, शिंदे गुट के राहुल शेवाले को अणुशक्ति नगर से पचास हजार छः सौ चौरासी, चेम्बूर से अट्ठावन हजार चार सौ सतहत्तर, धारावी से उनतालीस हजार आठ सौ बीस, सायन- कोलीवाड़ा से इकसठ हजार छः सौ उन्नीस, वडाला से उनसठ हजार सात सौ चालीस और माहिम से उनहत्तर हजार चार सौ अट्ठासी वोट मिले….

वहीं, मुंबई नार्थ ईस्ट लोकसभा सीट से इस बार शिवसेना उद्धव ठाकरे गुट के संजय दीना पाटिल ने यहां से जीत दर्ज की है… और उन्हें कुल चार लाख पचास हजार नौ सौ सैंतीस वोट मिले हैं…. जहां उनकी फाइट बीजेपी के मिहिर चंद्रकांत कोटेचा से थी…. जिन्हें चार लाख इक्कीस हजार छिहत्तर वोट मिले हैं…. इस दौरान संजय दीना पाटिल को मुलुंड से एक लाख चौसठ हजार चार सौ इक्कीस, विक्रोली से बावन हजार आठ सौ सात, भांडुप से पचहत्तर हजार छः सौ उनसठ, घाटकोपर वेस्ट से तिरसठ हजार तीन सौ सत्तर, घाटकोपर ईस्ट से तिरासी हजार दो सौ इकतीस वोट मिले…. जबकि, मानखुर्द- शिवाजी नगर जो कि मुस्लिम बाहुल्य इलाका है… वहां से अट्ठाइस हजार एक सौ एक वोट मिले थे….

वहीं, शिवसेना उद्धव ठाकरे गुट के प्रवक्ता आनंद दुबे ने कहा कि महाराष्ट्र में बदलते राजनीतिक परिदृश्य के साथ ही मुंबई में मुस्लिम मतदाताओं के बीच उद्धव ठाकरे की साख बढ़ी है… दो हजार चौबीस के लोकसभा चुनाव के दौरान उद्धव अपनी बात अल्पसंख्यक समाज के लोगो तक पहुंचाने में सफल रहे…. यही कारण है कि मुंबई में हमें चार मे से तीन सीटों पर जीत मिली है…. जबकि, कांग्रेस नेता नसीम खान का कहना है कि चुनाव के दौरान उद्धव ठाकरे ने भी जनता के बीच अपनी बात को स्पष्ट रूप से रखा…. जिस प्रकार से बीजेपी ने उनकी छवि को लेकर उनके हिंदुत्व को लेकर जूठा नरेटिव सेट करने का काम किया…. उसका साफ और सटीक जवाब उद्धव ठाकरे ने बीजेपी को दिया है…. अपने हिंदुत्व को उद्धव ने आम लोगों के बीच परिभाषित किया….

जिसको लेकर एक्सपर्ट अनुराग त्रिपाठी ने बड़ा बयान देते हुए कहा कि पूरे भारत मे मोदी जी को हराने के मकसद से मुस्लिम मतदाताओं ने टेटिकल वोटिंग की है…. इसका असर मुंबई के लोकसभा चुनाव में भी देखने मिला है…. जहां मुंबई की ज्यादातर सीटों पर शिवसेना (UBT) चुनाव लड़ रही थी…. इसीलिए उद्धव ठाकरे को मुस्लिम वोटों का फायदा हुआ है…. इसका सबसे अच्छा उदाहरण दक्षिण मुंबई की लोकसभा सीट है…. जहां शिवसेना की उम्मीदवार यामिनी जाधव को उनके ही विधानसभा क्षेत्र जहां से वो विधायक है… उसी विधानसभा क्षेत्र से सबसे कम वोट मिले है…. वहीं बीजेपी का हिंदुत्व का नेरेटिव फेल हो गया है… और बीजेपी पूर्ण बहुमत लाने में नाकामयाब रही… बावजूद इसके बीजेपी ने बैसाखी के सहरे सरकार बना ली है… और मोदी तीसरी बार प्रधानमंत्री बन गए है… वहीं अब देखना होगा की बैसाखी के सहारे सरकार कितने दिनों तक चलती है… यह तो आने वाला वक्त तय करेगा…

 

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