विधान परिषद चुनाव में भाजपा की ऐतिहासिक विजय सपा का खाता भी नहीं खुला

योगी के नेतृत्व में फिर भाजपा को मिली शानदार जीत

  • माफिया बृजेश सिंह की पत्नी समेत दो निर्दलीय भी जीते चुनाव
  • 36 में 33 सीटों पर भाजपा का कब्जा, विधान परिषद में भी मिला बहुमत
  • युवा मोर्चे के मेहनती पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सुभाष यदुवंश भी जीते

4पीएम न्यूज़ नेटवर्क
लखनऊ। विधान सभा चुनाव में प्रचंड बहुमत के साथ सत्ता में लगातार दूसरी बार काबिज होने वाली भाजपा ने विधान परिषद चुनाव में भी परचम फहरा दिया है। सीएम योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में भाजपा को शानदार जीत मिली है। भाजपा ने 36 में से 33 सीटों पर कब्जा जमाया है। माफिया बृजेश सिंह की पत्नी समेत दो निर्दलियों ने भी बाजी मारी है जबकि एक अन्य पर जनसत्ता दल लोकतांत्रिक पार्टी के प्रत्याशी ने जीत दर्ज की है। वहीं सपा का खाता भी नहीं खुला। विधान सभा चुनाव में बहुमत हासिल करने के एक महीने बाद भाजपा ने एक और इतिहास रच दिया है। भाजपा ने पहली बार विधान परिषद में बहुमत हासिल कर लिया है। इससे योगी सरकार की ताकत और बढ़ गई है। सरकार अब अपने दम पर दोनों सदनों से विधेयक पारित करा सकती है। स्थानीय निकाय प्राधिकार क्षेत्र से विधान परिषद की रिक्त 36 सीटों में से 33 पर भाजपा ने जीत हासिल कर ली है। 9 सीटों पर भाजपा प्रत्याशी पहले ही निर्विरोध निर्वाचित हो चुके थे। जिन 27 सीटों पर चुनाव हुए थे उसमें 24 और भाजपा प्रत्याशी विजेता घोषित हुए। सपा का एक भी सीट पर खाता नहीं खुल सका।

पीएम मोदी के क्षेत्र में भाजपा प्रत्याशी के तीसरे नंबर पर रहने से हो गयी फजीहत

पीएम मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में भाजपा प्रत्याशी न केवल हारा बल्कि तीसरे नंबर पर रहा। इससे पार्टी की फजीहत हो गयी। यहां एक बार फिर से बृजेश सिंह का दबदबा कायम रहा। एमएलसी चुनाव में उनकी पत्नी अन्नपूर्णा ने बड़े अंतर से जीत दर्ज की है। यहां भाजपा को तीसरा स्थान मिला। अंतिम चक्र की मतगणना में सपा के उमेश यादव को 345, भाजपा के डॉ. सुदामा पटेल को 170 वोट मिले। वहीं, निर्दलीय अन्नपूर्णा सिंह ने 4234 वोट हासिल कर जीत दर्ज की। इसमें 127 कुल निरस्त मतपत्र मिले। 24 वर्ष से बनारस की इस सीट पर केंद्रीय जेल में बंद बृजेश सिंह या उनके परिवार का ही कब्जा रहा है। निवर्तमान एमएलसी बृजेश सिंह के बड़े भाई उदयभान सिंह उर्फ चुलबुल सिंह एमएलसी सीट पर 1998 में एमएलसी बने। दो बार एमएलसी चुने गए और पंचायत चुनाव में उनका दबदबा जगजाहिर ही है। इसके बाद 2010 में बृजेश सिंह की पत्नी अन्नपूर्णा सिंह बसपा के टिकट से इस सीट पर एमएलसी बनी। इसके बाद वर्ष 2016 में बृजेश सिंह मैदान में उतरे तो भाजपा ने उन्हें समर्थन दिया और उनके खिलाफ कोई प्रत्याशी नहीं उतारा था।

सुभाष यदुवंश ने दर्ज की शानदार जीत

भाजपा अब अपने नौजवान नेताओं को आगे बढ़ा रही है। भाजपा जानती है कि युवाओं के आगे आने से उसे नयी पीढ़ी को साधने में सफलता मिलेगी। इसी ख्याल से युवा मोर्चा के मेहनती पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सुभाष यदुवंश पर भाजपा ने बस्ती-सिद्धार्थनगर विधान परिषद सीट के लिए दांव लगाया। यहां पर संतोष यादव सनी लड़ रहे थे जो सपा सरकार में मिनी सीेएम कहलाते थे। सुभाष यदुवंश ने शानदार मेहनत की और विजय हासिल की। सुभाष यदुवंश ने 4280 वोटों से जीत दर्ज की है जबकि सपा के संतोष यादव सनी को 887 मत प्राप्त हुए। सुभाष यदुवंश संगठन मंत्री सुनील बंसल के बहुत करीबी माने जाते हैं।

उत्तर प्रदेश विधान परिषद चुनावों में भाजपा की प्रचंड विजय ने पुन: स्पष्ट कर दिया है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के कुशल मार्गदर्शन एवं नेतृत्व में प्रदेश की जनता राष्ट्रवाद, विकास एवं सुशासन के साथ है।
सीएम योगी आदित्यनाथ

जौनपुर से लगातार दूसरी बार जीते बृजेश सिंह प्रिंसू

जौनपुर में लगातार दूसरी बार बृजेश सिंह प्रिंसू एमएलसी बने हैं। उन्हें 3130 मत मिले हैं। पूर्व सांसद धनंजय सिंह के करीबी बृजेश को इस बार भाजपा ने प्रत्याशी बनाया था। वहीं सपा के डॉ. मनोज कुमार यादव को कुल 772 मत मिले हैं।

आजमगढ़ की सभी विधान सभा सीटें जीतने पर भी एमएलसी नहीं जिता पायी सपा

सपा के लिए सबसे हैरान करने वाले परिणाम आजमगढ़ से आए। अपने गढ़ आजमगढ़ की सभी दस विधान सभा सीटें जीतने के बाद भी सपा यहां से अपना एमएलसी प्रत्याशी नहीं जिता सकी। यहां सपा प्रत्याशी राकेश कुमार यादव तीसरे स्थान पर रहे। उन्हें महज 356 मत मिले। आजमगढ़-मऊ सीट से भाजपा से निष्कासित पूर्व एमएलसी यशवंत सिंह के पुत्र निर्दलीय प्रत्याशी विक्रांत सिंह रिशू ने जीत दर्ज की है। उन्होंने भाजपा प्रत्याशी को हराया है। विक्रांत सिंह रिशू 4076 मत पाकर विजयी हुए। भाजपा प्रत्याशी व पूर्व विधायक अरुणकांत यादव को 1262 मत मिले। गौरतलब है कि इस सीट पर पहली बार कोई निर्दलीय प्रत्याशी जीता है।

लगातार पांचवीं बार जीते अक्षय प्रताप

रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया की जनसत्ता दल लोकतांत्रिक ने विधान परिषद चुनाव में प्रतापगढ़ की सीट अपने नाम कर ली है। प्रतापगढ़ के एमएलसी चुनाव में जनसत्ता दल लोकतांत्रिक के प्रत्याशी अक्षय प्रताप सिंह उर्फ गोपाल जी ने 1721 मत पाकर 1107 वोटों से जीत दर्ज की है। उनके निकटतम प्रतिद्वंदी भाजपा प्रत्याशी हरि प्रताप सिंह को 614 मत मिले। तीसरे स्थान पर रहे समाजवादी पार्टी प्रत्याशी विजय यादव को 380 मत मिले। अक्षय प्रताप सिंह ने लगातार पांचवीं बार इस सीट पर जीत दर्ज की है।

चुनाव परिणाम

1- बहराइच-श्रावस्ती से भाजपा की प्रज्ञा त्रिपाठी जीतीं।
2- रायबरेली से भाजपा के दिनेश प्रताप सिंह जीते।
3- जौनपुर से भाजपा के बृजेश सिंह प्रिंशू जीते।
4- देवरिया-कुशीनगर से भाजपा के रतनपाल सिंह जीते।
5- लखनऊ-उन्नाव से भाजपा के प्रत्याशी रामचंद्र प्रधान जीते।
6- बाराबंकी से भाजपा के अंगद कुमार सिंह जीते।
7- आगरा-फिरोजाबाद से भाजपा के विजय शिवहरे जीते।
8- बलिया से भाजपा के रविशंकर सिंह पप्पू जीते।
9- प्रयागराज से भाजपा के डा. केपी श्रीवास्तव जीते।
10- वाराणसी से निर्दलीय प्रत्याशी अन्नपूर्णा सिंह जीतीं।
11- मेरठ से भाजपा के प्रत्याशी धर्मेन्द्र भारद्वाज जीते।
12- सीतापुर से भाजपा के प्रत्याशी पवन सिंह चौहान जीते।
13- गाजीपुर से भाजपा के प्रत्याशी विशाल सिंह चंचल जीते।
14- मुरादाबाद से भाजपा के प्रत्याशी सतपाल सैनी जीते।
15- आजमगढ़ से निर्दलीय प्रत्याशी विक्रांत सिंह रिशू जीते।
16- गोरखपुर से भाजपा के प्रत्याशी सीपी चंद जीते।
17- सुल्तानपुर से भाजपा के प्रत्याशी शैलेन्द्र प्रताप सिंह जीते।
18- बस्ती से भाजपा के प्रत्याशी सुभाष यदुवंश जीते।
19- फर्रुखाबाद से भाजपा के प्रत्याशी प्रांशुदत्त द्विवेदी जीते।
20 झांसी से भाजपा की प्रत्याशी रमा निरंजन जीतीं।
21- गोंडा से भाजपा के प्रत्याशी अवधेश कुमार सिंह उर्फ मंजू जीते।
22- प्रतापगढ़ से जनसत्ता दल लोकतांत्रिक के अक्षय प्रताप सिंह जीते।
23- अयोध्या से भाजपा प्रत्याशी हरिओम पाण्डेय जीते।
24- फतेहपुर से भाजपा प्रत्याशी अविनाश सिंह चौहान जीते।
25- बरेली से भाजपा प्रत्याशी महाराज सिंह चुनाव जीते।
26- सहारनपुर से भाजपा की प्रत्याशी वंदना मुदित वर्मा जीतीं।
27- शाहजहांपुर-पीलीभीत से भाजपा के डा. सुधीर गुप्ता जीते।

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