तीन साल से जमे एएसपी, डीएसपी और इंस्पेक्टर हटेंगे : अवनीश अवस्थी

  •  विधानसभा चुनाव से पहले पुलिस विभाग में होगा बड़ा फेरबदल
  • अपर मुख्य सचिव गृह बोले- यूपी पुलिस की होगी स्क्रीनिंग

लखनऊ। उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव से पहले पुलिस महकमे में बड़ा फेरबदल होगा। एक जिले में तीन साल से अधिक समय से जमे पुलिस अधिकारियों व कर्मचारियों को भी हटाया जाएगा। चुनाव आयोग ने भी बीते दिनों सुरक्षा-व्यवस्था की तैयारियों को लेकर अहम निर्देश दिए थे। इस देखते हुए शासन ने अब एएसपी स्तर से लेकर दारोगा तक की स्क्रीनिंग के लिए दो कमेटियां भी गठित कर दी हैं। अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश अवस्थी ने इस संबंध में कहा जिलों में लंबे समय से जमे पुलिस अफसर हटेंगे। इसमें एएसपी, डीएसपी, इंस्पेक्टर के अलावा थानों में कई सालों से तैनात पुलिस अधिकारी शामिल होंगे। एसीएस होम बोले कि एक जिले में तीन साल का कार्य पूरा कर चुके पुलिस अधिकरियों का कार्यक्षेत्र बदला जाएगा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वीसी के दौरान भी कानून-व्यवस्था को लेकर कड़े निर्देश दिए थे, जिसके बाद जोन से लेकर जिलों तक में कई आइपीएस अधिकारियों के तबादले की चर्चाएं भी तेज हो गई हैं। माना जा रहा है कि जल्द कई बदलाव हो सकते हैं। अब चुनाव के दृष्टिïगत एक जिले में तीन वर्ष से अधिक अवधि से तैनात तथा 31 मार्च 2022 तक तीन वर्ष का कार्यकाल पूरा कर रहे अपर पुलिस अधीक्षक, पुलिस उपाधीक्षक, निरीक्षक व उपनिरीक्षक का ब्योरा देखा जाएगा। उनके विरुद्ध किसी जांच व शिकायत को भी देखा जाएगा। जिसके बाद पुलिस महकमे में बड़े स्तर पर तबादलों का सिलसिला शुरू होगा। इसी कड़ी में डीजीपी मुख्यालय स्तर से जिलों में लंबे समय से तैनात मुख्य आरक्षियों व आरक्षियों को भी सूचीबद्ध किया जा रहा है।

कमेटियों से एक सप्ताह में रिपोर्ट मांगी

यूपी शासन ने एएसपी व सीओ की स्क्रीनिंग के लिए डीजी इंटेलीजेंस देवेंद्र सिंह चौहान की अध्यक्षता में तथा निरीक्षक व उपनिरीक्षक की स्क्रीनिंग के लिए एडीजी कानून-व्यवस्था प्रशांत कुमार की अध्यक्षता में तीन-तीन सदस्यीय कमेटियां गठित की हैं। दोनों ही कमेटियों से एक सप्ताह में रिपोर्ट मांगी गई है।

 मुख्य सचिव ने पीएम मोदी के कार्यक्रम की तैयारियों का लिया जायजा

लखनऊ। यूपी के मुख्य सचिव राजेंद्र तिवारी एवं पुलिस महानिदेशक मुकुल गोयल ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 14 सितंबर के कार्यक्रम की तैयारियों का जायजा लिया। उन्होंने स्पष्ट कहा कि व्यवस्थाओं का माइक्रो प्लान तैयार कर अफसरों को जिम्मेदारियां सौंप दी जाएं। मंडलायुक्त गौरव दयाल ने बताया कि प्रधानमंत्री के कार्यक्रम के संबंध में आगरा एवं अलीगढ़ मंडल के जिलाधिकारियों से विचार-विमर्श कर आवश्यक दिशा निर्देश दिए गए हैं। सभी पुलिस एवं प्रशासनिक अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि तैयारियों में किसी प्रकार की कोई कोर कसर न छोड़ी जाए। जरा सी लापरवाही एवं सुरक्षा में चूक सभी पर भारी पड़ सकती है। जिला मजिस्ट्रेट सेल्वा कुमारी जे ने बताया कि प्रत्येक पार्किंग स्थल पर दो मजिस्ट्रेट तैनात किए गए हैं। सभी मजिस्ट्रेट एवं पुलिस अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वह जनसामान्य से मधुर व्यवहार रखेें। पुलिस महानिदेशक ने निर्देशित किया कि सभी प्रकार से तैयारियां पूर्ण करते हुए रिहर्सल समय से कर लिया जाए। एडीजी आगरा जोन ने बताया कि ब्लू बुक के अनुसार सुरक्षा खाका तैयार कर लिया गया है। 12 सितंबर को फोर्स अलीगढ़ पहुंच जाएगा।

यूपी : 38 पीसीएस अफसरों के तबादले, मुख्यमंत्री ने दी तबादलों को मंजूरी

लखनऊ। विधानसभा चुनाव से पहले पीसीएस अफसरों के तबादले कर दिए गए हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सुबह ही तबादलों को मंजूरी दी। लखनऊ के एडीएम ट्रांसगोमती, सिटी मजिस्ट्रेट व एक अपर नगर आयुक्त सहित प्रदेश के 38 पीसीएस अफसरों को इधर से उधर किया गया है। तबादले पब्लिक डोमेन में न सर्कुलेट करने के निर्देश दिए गए हैं। इसी तरह प्रदेश के अलग-अलग जिलों में भी कर्मचारियों को इधर से उधर करने का दौर जारी है। सुल्तानपुर जिले में कलेक्ट्रेट व तहसीलों में एक ही पटल पर कई सालों से जमे 38 कर्मचारियों को डीएम के अनुमोदन के बाद इधर से उधर कर दिया गया है। इसमें कुछ कलेक्ट्रेट से तहसीलों को भेजे गए तो कुछ वापस कलेक्ट्रेट लाए गए हैं। आदेश में कर्मचारियों को तुरंत ज्वॉइन करने का निर्देश दिया गया है। कई सालों बाद बड़ी संख्या में कलेक्ट्रेट कर्मचारपियों को इधर से उधर कर दिया गया है। डीएम रवीश गुप्ता के अनुमोदन के बाद अपर जिलाधिकारी प्रशासन ने तबादले में कर्मचारियों का पटल बदल दिया है। इसमें कलेक्ट्रेट के कुछ कर्मचारियों को तहसीलों में तो कुछ को तहसील से वापस कलेक्ट्रेट लाया गया है। तबादले में राजस्व अभिलेखागार, विभिन्न राजस्व अदालतों समेत अन्य पटलों के कर्मचारी भी बदले गए हैं। हालांकि अधिकांश कर्मचारी अपनी तहसीलों व कलेक्ट्रेट में बने रहने में सफल हुए हैं। बुधवार को आदेश जारी करते हुए अपर जिलाधिकारी प्रशासन हर्षदेव पांडेय ने कर्मचारियों को तत्काल अपना पटल ज्वॉइन करने का निर्देश दिया है। एडीएम ने बताया कि अधिकांश कर्मचारियों ने अपना नया पटल ज्वॉइन कर लिया है।

जावेद अख्तर की बढ़ी मुश्किलें, लखनऊ में मुकदमे की अर्जी दाखिल

लखनऊ। राष्टï्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) की तुलना तालिबान से करने के कथित बयान के मामले में बॉलीवुड के गीतकार जावेद अख्तर के खिलाफ सीजेएम कोर्ट लखनऊ मुकदमे की अर्जी दाखिल की गई है। मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट रवि कुमार गुप्ता ने जावेद अख्तर के खिलाफ दाखिल मुकदमे की उक्त अर्जी की पोषणीयता पर सुनवाई के लिए 16 सितंबर की तारीख तय की है। यह अर्जी स्थानीय अधिवक्ता प्रमोद पांडेय ने सीजेएम कोर्ट लखनऊ में दाखिल की है। प्रमोद पांडेय ने अपनी अर्जी में जावेद अख्तर पर राष्टï्रीय स्वंय सेवक संघ की तुलना तालिबान से करने का कथित आरोप लगाया है। साथ ही जावेद अख्तर के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने का आदेश देने की मांग की है। वादी का कहना है कि संघ एक देश भक्त संगठन है। वादी स्वंय भी इसका सदस्य है। इस संगठन की तुलना तालिबान से करना अपराध की श्रेणी में आता है। क्योंकि तालिबान आतंकवाद का पर्याय है। विभिन्न समाचार पत्रों में प्रकाशित विपक्षी जावेद अख्तर के इस कथन से उसकी आस्था आहत हुई है। जावेद अख्तर ने ट्वीट किया कि हर सभ्य व्यक्ति, हर लोकतांत्रिक सरकार, दुनिया के हर सभ्य समाज को तालिबानियों को मान्यता देने से इनकार करना चाहिए और अफगान महिलाओं के क्रूर दमन के लिए निंदा करनी चाहिए या फिर न्याय, मानवता और विवेक जैसे शब्दों को भूल जाना चाहिए।

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