हर साल बढ़ रही है देश छोड़ने वाले लोगों की संख्या

पाकिस्तान में लम्बे समय से जारी राजनीतिक अस्थिरता और बढ़ते आर्थिक संकट ने पाकिस्तान के युवाओं के भविष्य को

4PM न्यूज़ : पाकिस्तान में अनिश्चित आर्थिक स्थिति, बढ़ती मुद्रास्फीति और चल रही राजनीतिक अस्थिरता के चलते लोग परेशान हैं. यही वजह है कि वहां के लोग अपना ही देश छोड़कर दूसरे देशों में बसने को मजबूर हो गए हैं. भारत के मुकाबले पाकिस्तान में देश छोड़कर विदेशों में बसने वालों की संख्या बढ़ती जा रही है. ऐसे में चलिए जानते हैं कि आखिर पाकिस्तान में आखिर हर साल कितने लोग नागरिकता छोड़ देते हैं.

हर साल इतने लोग छोड़ते हैं पाकिस्तान की नागरिकता

पाकिस्तान में लम्बे समय से जारी राजनीतिक अस्थिरता और बढ़ते आर्थिक संकट ने पाकिस्तान के युवाओं के भविष्य को अंधकार में धकेल दिया है. यही वजह है कि लोग किसी भी तरह अपने ही देश से दूर जाना चाह रहे हैं. आव्रजन और विदेशी रोजगार ब्यूरो के आंकड़ों के मुताबिक, 2024 में 7,00,000 से ज्यादा लोग उज्ज्वल भविष्य की तलाश में पाकिस्तान की नागरिकता छोड़ने वाले हैं, पिछले साल ये संख्या 8,11,000 से ज्यादा थी.

पिछले साल क्या था डाटा?

2022 में उच्च शिक्षित युवा डॉक्टर, इंजीनियर, आईटी विशेषज्ञ, एकाउंटेंट और पैरामेडिक्स सहित 7,65,000 उच्च शिक्षित और कुशल युवा एक उज्ज्वल भविष्य के लिए पाकिस्तान छोड़ दिया, जिससे देश की प्रतिभा पलायन की स्थिति में 300 प्रतिशत की बढ़ोतरी देखी गई. उनमें से अधिकांश सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात जाने वाले थे.

पाकिस्तान के पंजाब से सबसे ज्यादा पलायन कर रहे लोग

पिछले कुछ सालों में सबसे ज्यादा पलायन करने वाले लोग पंजाब से रहे हैं. एक्सप्रेस ट्रिब्यून की रिपोर्ट के मुताबिक, जिसमें पाकिस्तान ब्यूरो ऑफ इमीग्रेशन के आंकड़ों का हवाला दिया गया है, आधे से ज्यादा प्रवासी पाकिस्तान के पंजाब राज्य से थे. वहीं लगभग 27,000 लोग पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (POK) से थे.

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